ठेके खोलने और ऑनलाइन शराब बिक्री के फैसले पर मुहर लगने में शनिवार को फिर अड़चन आ गई। शनिवार दोपहर 2 बजे कैबिनेट मीटिंग में अंतिम फैसला होना था। इस दौरान मंत्रियों और अफसरों में कहासुनी हो गई। पंजाब की आबकारी और शराब नीति की संशोधन को लेकर बैठक के दौरान सीनियर आईएएस अधिकारियों और कैबिनेट मंत्रियों के बीच हुई कहासुनी के मुद्दे पर लुधियाना से कांग्रेस सांसद रवनीत सिंह बिट्टू ने ट्वीट करके मंत्रियों के रवैये पर सवाल खड़ा करते हुए कहा कि कोरोना महामारी के दौरान मंत्रियों को इस तरह की बैठक में अधिकारियों के साथ को-आर्डिनेशन दिखाने की जरूरत है नाकि इस तरह से वाकआउट करने की।
अगर कोई भी मंत्री इस तरह का गैर-जिम्मेदाराना व्यवहार दिखाता है तो वो अपने पद से इस्तीफा दे सकता है और उन्हें रिप्लेस करने के लिए अन्य कई काबिल चेहरे पार्टी के पास हैं। रवनीत सिंह बिट्टू ने कहा कि अगर मंत्रियों को लगता है कि ब्यूरोक्रेसी काबिल नहीं है तो उन्हें ब्यूरोक्रेसी को बदलने की मांग उठानी चाहिए नाकि इस तरह से इतनी महत्वपूर्ण बैठक से वॉकआउट करना चाहिए।
कैप्टन नहीं रखवा पा रहे को-आर्डिनेशन : बाजवा
कांग्रेस के राज्यसभा सांसद और पूर्व पंजाब कांग्रेस अध्यक्ष प्रताप सिंह बाजवा ने ट्वीट करके कैप्टन से पूछा है कि आप पीएम को अच्छे से ये समझा लेते हैं कि सीएम से को-ऑर्डिनेट करके कोविड को लेकर केंद्र सरकार की ओर से गतिविधियां करे। लेकिन ऐसा को-आर्डिनेशन आप अपनी कैबिनेट के साथियों से क्यों नहीं बनवा पाते हैं।
वडिंग बोले सीएस दें इस्तीफा
पंजाब कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अमरिंदर सिंह राजा वडिंग ने चीफ सेक्रेटरी को ही बर्खास्त करने की मांग करते हुए ट्वीट करके कहा कि इससे पहले भी कई बार चीफ सेक्रेटरी का इस तरह का रवैया देखने को मिला है जिसे बर्दाश्त नहीं किया जा सकता और वो कई बार कैबिनेट मंत्रियों और उनके फैसलों को पूरा सम्मान नहीं देते हैं इसलिए उन्हेंतुरंत पद से इस्तीफा देना चाहिए।
विवाद के बाद कैबिनेट मीटिंग स्थगित, अब सोमवार को होगी
कैबिनेट मीटिंग के साथ ही उससे पहले हुई मीटिंग में कुछ मंत्रियों ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये इनमें शामिल होना था। जब आबकारी व काराधान विभाग के अफसरों की मंत्रियों के साथ होने वाली मीटिंग में शामिल होने के लिए उद्योग मंत्री श्याम सुंदर अरोड़ा और खाद्य एवं आपूिर्त मंत्री भारत भूषण आशू ने वीसी से जुड़ने की कोशिश तो कोई दिखाई नहीं दिया। वहींकुछ देर बाद उक्त मीटिंग के साथ कैबिनेट मीटिंग के स्थगित होने का मैसेज सभी वीसी से जुड़ने वाले मंत्रियों को उनके फोन पर मीटिंग स्थगित होने का मैसेज फलैश हो गया।
कुछ मंत्रियों की पत्नियों औरविधायकों ने भी जताया विरोध
ऑनलाइन शराब बिक्री का विरोध कैबिनिट मंत्रियों व विधायकों की पत्नियों ने भी िवरोध जताया। खाद्य एवं आपूिर्त मंत्री भारत भूषण आशू की पत्नी ने ट्वीट किया कि ऑनलाइन शराब बिक्री गलत है। इसी तरह से अमरिंदर सिंह राजावडिंग के पत्नी ने भी ऑनलाइन शराब बिक्री का सरकार का फैसला गलत ठहराया।
मंत्रियों के खफा होकर जाने से सभी बिना लंच किए ही गए
कैबिनेट मंत्रियों और सीनियर आईएएस अधिकारियों के विचार अलग-अलग होने से बैठक में कोई नतीजा नहीं निकल सका। बैठक के बीच में कैबिनेट मंत्रियों के चले जाने के बाद बैठक के बाद रखा गया लंच भी किसी ने नहीं किया।
पिछले दिनों पटियाला के 8 साल के गुरनूर की हत्या उसकी सौतेली मां ने उसे 25 लाख के बीमे का नाॅमिनी बनाये जाने की वजह से की थी। गुरनूर की हत्या का खुलासा 5 दिन बाद शुक्रवार को उस समय हुआ जब पुलिस ने सौतेली मां कुलविंदर कौर से दोबारा पूछताछ की। कुलविंदर ने माना कि उसके बेटे को नॉमिनी न बनाकर विनोद ने गुरनूर को बीमा का नॉमिनी बना दिया था। इसी कारण उस ने गुरनूर को गांव के छप्पड़ में धक्का देकर गिरा दिया दिया था। बाद में उसकी डूबने से मौत हो गई। हालांकि इससे पहले पुलिस ने पुख्ता सुबूत नहीं मिलने गुरनूर के छप्पड़ में गिर जाने को वजह मानते हुए 174 की कार्रवाई कर शव परिजनों को सौंप दिया था।
कुलविंदर को पुलिस ने आज अदालत में पेश कर तीन दिन के रिमांड पर लिया है। गुरनूर गांव घड़ाम निवासी कंबाइन आपरेटर विनोद कुमार का पहली पत्नी से हुआ बेटा था। पहली पत्नी से ही उसकी 11 वर्षीय बेटी भी है। गुरनूर की मां 7 साल पहले विनोद से झगड़ा होने की वजह से अपने बच्चों के साथ अलग रहती थी, परन्तु तीन साल पहले उसी ने विनोद की शादी राजपुरा की रहने वाली कुलविंदर कौर से करवाई जिसके पहले से ही दो बच्चे थे। विनोद अपनी जिम्मेदारी पर पहली पत्नी से भी दोनों बच्चों को अपने ही साथ ले आया था। पिता विनोद ने बताया कि करीब 3 महीने पहले उसने अपना 25 लाख रुपए का बीमा करवाया था जिसने बेटे गुरनूर को नॉमिनी के तौर पर रख लिया था।
जमीन पर कब्जा करने पहुंचे व्यक्तियों का पता चलने पर जब खेत मालकिन अपने रिश्तेदारों के साथ खेत पहुंची तो आरोपी भाग गए। पति ने पीछा किया तो आरोपियों ने पति पर ट्रैक्टर चढ़ा दिया जिससे पति की मौत हो गई। आरोप है कि आरोपी खरीदी गई जमीन की पूरी अदायगी बगैर ही जमीन पर कब्जा करना चाहते हैं। ऐसे में पुलिस ने एक महिला समेत सात आरोपियों के विरूद्ध हत्या का मामला दर्ज कर छानबीन शुरू कर दी है। गांव लाडबंजारा कलां निवासी संदीप कौर ने पुलिस को शिकायत दी है कि उनके पास गांव में 3 एकड़ जमीन थी। करीब 7-8 वर्ष पहले उन्होंने एक एकड़ जमीन हमझेडी (पटियाला) निवासी परमजीत कौर को बेच दी थी परंतु परमजीत कौर ने इस जमीन की पूरी पेमैंट उन्हें नहीं दी थी।
8 मई को सुबह साढे 10 वह अपने मकान की छत्त पर घर का काम करने के लिए गई थी। इस दौरान उसने देखा कि उनके खेत में कुछ अज्ञात व्यक्ति ट्रैक्टर के पीछे हल डालकर जमीन पर चला रहे थे। इस पर वह सास व रिश्तेदारों को लेकर खेत पहुंच गए। उन्हें देखकर सभी आरोपी गांव निहालगढ़ की तरफ भाग गए। इस दौरान उनके पति हरविन्द्र सिंह उर्फ लाडी ने इनकी पहचान कर अपना मोटरसाइकिल आरोपियों के पीछे लगा दिया। वह भी पति के पीछे ही चले गए। गांव लाडबंजारा खुर्द के पास उसके पति ने अपना मोटरसाइकिल आरोपियों के ट्रैक्टर के आगे लगा दिया। ऐसे में ट्रैक्टर चालक ने पति को मार देने की नीयत से ट्रैक्टर पति पर चढ़ा दिया।
एक महिला समेत 7 पर हत्या का केस
थाना दिड़बा के एसएचओ सुखदीप सिंह ने बताया कि पुलिस ने संदीप कौर के ब्यानों पर चरणजीत सिंह निवासी धूूहड़, परमजीत कौर निवासी हमझेड़ी, कुलबीर सिंह निवासी ढंडियाल, मुल्तान सिंह, भगवान सिंह, मनजीत सिंह, जयपाल सिंह निवासी लाडबंजारा कलां के विरूद्ध हत्या का मामला दर्ज कर छानबीन शुरू कर दी गई है। आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए पुलिस ठिकानों पर रेड़ कर रही है।
एक तरफ पूरा संसार कोरोना वायरस की खतरनाक बीमारी से लड़ रहा है, वहीं कुछ महिलाएं जो पेशे से डॉक्टर, सिविल अधिकारी, पुलिस अधिकारी के साथ माताएं भी हैं, वह इन दिनों अपनी ड्यूटी आगे होकर कर रही हैं। आज भास्कर मदर्स डे पर ऐसी ही महिलाओं की कहानियां लेकर आया है जो अपने परिवार में रहते हुए अपने छोटे-छोटे बच्चों को घरों में छोड़कर समाज के लिए आगे होकर कोरोना वायरस जैसी भयानक बीमारी से दो-दो हाथ कर रही हैं।
8 माह की बेटी को पति के पास छोड़कर कोरोना वाॅरियर्स के तौर पर दे रहीं ड्यूटी
वैश्विक महामारी कोरोना वायरस के खिलाफ जारी जंग में शहर के प्रीत नगर निवासी महिला सब इंस्पेक्टर रिंपल रानी अपनी 8 माह की बच्ची को घर में अपने पति के पास छोड़कर कोरोना यौद्धा के तौर पर अपनी ड्यूटी निभा रही हैं। रिंपल की ड्यूटी के दौरान घर में उनके पति बच्ची की देखभाल कर रहे हैं। रिंपल सुबह बच्ची के लिए दूध आदि की व्यवस्था कर अपनी ड्यूटी पर जाती हैं तो उसके बाद पूरा दिन उनके पति ही बच्ची की देखभाल कर रहे हैं।
वहीं जब वह ड्यूटी के बाद शाम को घर पहुंचती हैं तो बच्ची उन्हें लिपटने को होती है मगर कोरोनावायरस महामारी के चलते वह नहाने के बाद बच्ची को मिलती हैं। छावनी के मेन बाजार में लगाए गए नाके पर तैनात महिला सब इंस्पेक्टर रिंपल रानी ने बताया कि हालांकि छोटी बच्ची होने के चलते कई बार उन्हें लगता है कि उसकी देखभाल बहुत जरूरी है मगर जब पूरे देश पर संकट की घड़ी आ खड़ी हुई है तो लोगों की सुरक्षा के लिए उनकी भी जिम्मेदारी बनती है।
वहीं उन्होंने कहा कि उनके पति प्यारा सिंह सरकारी अध्यापक हैं और लॉकडाउन होने के चलते वह अभी घर में हैं जोकि उसका हौंसला बढ़ाते हैं कि वह बच्ची की िंचंता न करे और अपनी ड्यूटी पर जाए। रिंपल ने कहा कि वह जब घर पहुंचती हैं तो छोटी बच्ची अवरीन कौर उनके पास आने को बेताब होती है तो वहीं वह भी उसे मिलना चाहती हैं मगर कोरोना महामारी के चलते घर में पहुंचते ही वह नहाने के बाद पूरे एहतियात बरतने के बाद ही अवरीन को मिलती हैं।
मां का फर्ज निभाते हुए महिलाओं पर अत्याचारों को लेकर कोरोनाकाल में 50 मामले निपटाए
कांशी नगरी निवासी रीतू पलता जोकि दो बच्चों की मां हैं व प्रतिदिन सुबह उठकर घर का काम काज निपटाने के बाद अपने कार्यालय में जाकर पूरा दिन महिलाओं के खिलाफ हो रहे अत्याचारों के मामलों को निपटाने में जुटी रहती हैं। कोरोनावायरस महामारी से बचाव को लेकर जारी कर्फ्यू के पहले दिन से लगातार कार्यालय में जाकर महिलाओं के घर बिखरने से व बहुत सी महिलाओं को अपने बच्चों से मिलाने के लिए कार्य कर रही हैं। 23 मार्च से लेकर अब तक वह 50 से अधिक मामलों का निपटारा करवा चुकी हैं।
अपनी मां की इस हिम्मत और हौंसले को देखकर उनके बच्चे उन्हें यूनिवर्स बेस्ट माॅम कहते हैं। सिविल अस्पताल स्थित वन स्टॉप सेंटर सखी में कोऑर्डिनेटर के तौर पर तैनात रीतू पलता 23 मार्च से अब तक सेंटर में आए मामलों में से 22 मामलों में राजीनामे करवा चुकी हैं, 18 मामलों में पीड़िताओं को पुलिस हेल्प मुहैया करवाई हैं तो 2 पीड़िताओं को लीगल हेल्प प्रोवाइड करवाई हैं। इसके अलावा उनके पास आने वाली महिलाओं की अन्य कॉल में लोगों द्वारा उन्हें अश्लील कॉल करने जैसे कई मामलों को ट्रेस करवाया गया है।
लाॅकडाउन के पीरियड के दौरान सेंटर में महिलाओं के साथ अत्याचार व ऐसे ही कुछ अन्य करीब 50 मामलों का हल करवा चुकी हैं जिससे कई महिलाओं का घर बिखरने से बच गया तो बहुत से महिलाएं अपने बच्चों से मिल सकी हैं। मदर-डे के अवसर पर उनके बच्चों ने अपनी मां को वर्ल्ड की बेस्ट मदर कहा जोकि घर का पूरा कामकाज संभालने व कोरोना के खिलाफ जारी जंग के बीच लोगों के मामले सुलझाने के साथ-साथ उनका भी पूरा ध्यान रख रही हैं।
कोरोनावायरस के खिलाफ जारी जंग में जहां पुलिस कर्मी अपनी जान को जोखिम में डालकर नाकों पर ड्यूटियां दे रहे हैं वहीं लोग इन कोरोना योद्धाओं का हौंसला बढ़ाने की बजाए इन्हें धमकियां देकर उनका मनोबल गिराने में लगे हैं। लोगों को समझना होगा कि पुलिस कर्मी नाका हटाकर आपको बाजार में या अपने क्षेत्राें मेंं तो जाने के लिए छोड़ देंगे अगर कोरोना की चपेट में आ गए तो फिर कैसे छूटेंगे। बीते वीरवार को छावनी के पॉयलट चौक मेन बाजार की एंट्री में लगाए गए नाके पर एक जीप को बाजार में जाने से रोकने पर एक निहंग सिंह द्वारा पुलिसकर्मियांें के साथ बहसबाजी का एक सीसीटीवी वीडियो सामने आया है। इसमें एक निहंग सिंह अपनी जीप से उतरने के बाद नाके पर तैनात कर्मियों से बहस करता दिखाई दे रहा है तो इसके बाद एक व्यक्ति उसे बाहाें से खींचकर जीप में बैठाकर जाने काे कहता दिख रहा है। लोगों की ओर से तपती गर्मी में ड्यूटी दे रहे इन कोरोना योद्धाओं के साथ इस तरह का सलूक बहुत ही निंदनीय है।
शनिवार को इस सीसीटीवी वीडियो फुटेज के सामने आने के बाद जब मेन बाजार में नाके पर तैनात कर्मियों से बात की गई तो उन्होंने बताया कि यह 7 मई वीरवार की घटना है। एक बंद जीप में सवार निहंग सिंह ने नाके के सामने जीप को लाकर रोका तो होम गार्ड के एक जवान ने उसे रास्ता बंद होने का इशारा करते हुए जीप को दूसरी ओर से ले जाने को कहा। जब चालक नहीं माना तो होमगार्ड ने हाथ जोड़े तो उक्त जीप सवार निहंग सिंह जीप को नाके से थोड़ा साइड में लगाकर जीप से उतरा व नाके पर आकर कर्मियों से बहस करने लगा।
इस दौरान पुलिस कर्मी व होमगार्ड जवान उसे वहां से जाने के लिए कहते रहे मगर निहंग सिंह और जाेश में अा गया जिसके बाद एक व्यक्ति उसे वहां से खींचकर ले गया व उसे जीप में बैठाया जिसके बाद उक्त व्यक्ति जीप लेकर वहां से चला गया। नाके पर तैनात होम गार्ड जवानों व पुलिस कर्मियों ने बताया कि इसके बाद जब वह बाजार में खड़े कुछ वाहनों को हटाने के लिए गए तो उक्त निहंग सिंह की ओर से फिर से कर्मियों के साथ बहसबाजी की गई। होम गार्ड जवानों ने बताया कि निहंग सिंह ने कहा कि पुलिस आजकल उन्हें देखकर ईर्ष्या करने लगी है जिसके चलते उन्हें फिर से हथियार उठाने पड़ेंगे।
बाजारों में वाहन लेकर आने वालों पर रखी जा रही नजर, काटे जा रहे चालान
कैंट थाना की सब इंस्पेक्टर नवदीप कौर की ओर से भी बाजारों में वाहन लेकर जाने वालों पर सख्त कार्रवाई की गई। एसआई की ओर से एरिया में गश्त के दौरान बाजारों में वाहन व नाकों पर नियमों का उल्लंघन करने वाले 11 कारों को इंपाउंड किया तो वहीं 10 बाइकों के चालान काटे। उन्होंने कहा कि लोगों को बाजारों में पैदल जाकर खरीददारी करने की परमिशन दी गई है इसलिए बाजारों में वाहन लेकर जाना नियमों के खिलाफ है।
वहीं सब इंस्पेक्टर ने कहा कि अगर कोई अब प्रशासन की ओर से जारी किए गए नियमों का उल्लंघन करता पाया गया तो उस पर सख्त कार्रवाई की जाएगी। वाहनों के चालान व इंपाउंड किए जाएंगे तो कर्फ्यू के नियमों का उल्लंघन करने पर बनती कार्रवाई की जाएगी।
पुलिस ने बाजारों में वाहन लेकर घुसने वालों पर की कार्रवाई, 11 कारों को इंपाउंड किया,10 बाइकों के काटे चालान
प्रशासन की ओर से कर्फ्यू में ढील के बाद बाजार खोले जाने से वाहनों का आवागमन पुलिस के लिए सिरदर्द बना हुआ है। इसी के चलते शनिवार को बाजारों में कार्रवाई करते डीएसपी हेडक्वार्टर करण शेर सिंह ने छावनी के मेन बाजार में पहुंचकर कई वाहन चालकों को वापस दौड़ाया तो कइयों को सबक सिखाने के लिए उनके वाहन की चाबी निकाली। डीएसपी ने कहा कि कर्फ्यू के दौरान बाजारों मे ढील केवल पैदल जाकर सामान खरीदने के लिए दी गई है मगर लोग वाहन लेकर बाजारों में पहुंच रहे हैं जो गलत है।
उन्होंने कहा कि इस दौरान दोपहिया या चारपहिया किसी भी वाहन को बाजार में ले जाने की परमिशन नहीं दी गई है। इसके लिए नाकों को और सख्त किया जाएगा व जो भी वाहन चालक नियमों का उल्लंघन करता पाया गया तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।
कैप्टन सरकार ने काेराेना संक्रमण के दाैरान फील्ड में फ्रंट लाइन पर ड्यूटी दे रहे सभी अध्यापकों और एजुकेशन महकमे के तहत आते नाॅन टीचिंग स्टाफ काे ‘काेरोना वॉरियर्स’ का दर्जा देते हुए उनके लिए 50 लाख रुपए के एक्स ग्रेशिया (सेहत बीमा) का देने का एलान किया है। वित्त विभाग ने इससे जुड़ा पत्र जारी कर दिया। डेमोक्रेटिक टीचर्स फ्रंट की मांग पर सरकार ने यह एलान किया है। डेमाेक्रेटिक टीचर्स फ्रंट के प्रदेश अध्यक्ष दविंदर सिंह पूनिया, महासचिव जसविंदर सिंह झबेलवाली और जिला अध्यक्ष अश्वनी अवस्थी ने कहा कि टीचिंग और नाॅन टीचिंग स्टाफ कर्फ्यू में ड्यूटी निभा रहा है। ये उनका हक है।
इधर, कच्चे मुलाजिमों ने भी की 50 लाख के सेहत बीमे की मांग
चंडीगढ़ | कोरोना वायरस के संकट से कच्चे कर्मचारी भी फ्रंट लाइन पर ड्यूटी कर रहे हैं। लेकिन कच्चे कर्मचारियों के संगठनों का आरोप है कि सरकार कच्चे कर्मचारियों को पूरी सहूलियत नहीं दे रही। इससे इन कर्मचरियों को रोष प्रदर्शन करने पड़ रहे हैं। कर्मचारी नेताओं ने कहा कि कर्मचारियों को पक्का किया जाए और कोविड की ड्यूटी में लगे मुलाजिमों का 50 लाख का बीमा करने के भी आदेश जारी किए जाएं।
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कर्फ्यू में भी ब्लड देने पहुंचे डाेनर्स को प्रमाणपत्र व स्मृति चिन्ह देकर किया सम्मानित
वर्ल्ड थैलेसीमिया डे पर शनिवार को मुक्तसर के सिविल अस्पताल में डेरा सच्चा सौदा सिरसा के सेवादारों व शिवानी मेमोरियल थैलेसीमिया वेलफेयर सोसायटी के सहयोग से रक्तदान कैंप लगाया गया। इसमें कर्फ्यू के बावजूद डेरा प्रेमियों व अन्य सदस्यों ने 131 यूनिट रक्तदान किया। डेरा सच्चा सौदा कमेटी के इंचार्ज मंगत राम ने बताया कि इस दौरान सभी रक्त दाताओं को प्रमाणपत्र व स्मृति चिह्न भेंट कर सम्मानित किया गया। सोसायटी के अध्यक्ष पवन खुराना ने सभी ब्लड डाेनर का आभार जताया। साथ ही अन्य लोगों को भी बढ़-चढ़कर रक्तदान करने की प्रेरणा दी।
समाजसेवी संजीव ने25वीं बार किया खूनदान
संगरूर | कोरोना वायरस के कारण लगे कर्फ्यू में समाजसेवी व कोपल ग्रुप सूलर घराट के एमडी संजीव बांसल ने जरूरतमंद लोगों की मदद के लिए 25वीं बार खूनदान किया। इस मौके पर संजीव बांसल ने कहा कि खूनदान करना सबसे उत्तम दान है। सभी लोगों को ज्यादा से ज्यादा खूनदान करना चाहिए। खूनदान करने से शरीर में किसी भी तरह की कोई कमजोरी नहीं आती, बल्कि जल्दी ही शरीर में खून की भरपाई हो जाती है।
निहाल सिंह वाला में शाह सतनाम जी ग्रीन एस वेलफेयर फोर्स ने किया 25 यूनिट रक्तदान
शाह सतनाम जी ग्रीन एस वेलफेयर फोर्स के सदस्यों द्वारा वर्ल्ड थैलेसीमिया डे पर सिविल अस्पताल के ब्लड बैंक में 25 यूनिट रक्तदान किया गया। 25 मेंबरी कमेटी के सदस्य राकेश कुमार ने बताया कि अलग-अलग गांवों व कस्बों से पहुंचे शाह सतनाम जी ग्रीन एस वेलफेयर फोर्स के जवानों द्वारा देश में फैली भयानक बीमारी कोरोना वायरस का बचाव करते हुए सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कर 25 युवाओं द्वारा रक्तदान किया गया है। उन्होंने कहा कि रक्तदान महादान है। इस अवसर पर राकेश कुमार, बनवारी लाल, बलजिंदर पत्तों , जीवन दीप शर्मा, हैप्पी सेदोके, अमृत सेदोके, संदीप हिम्मतपुरा आदि उपस्थित थे।
पूर्व मुख्यमंत्री बीबी रजिंदर कौर के मीडिया सलाहकार के सनमीक हैनरी ने अपना जन्मदिन सफाई कर्मचारियों को मास्क, सैनिटाइजर व ग्लव्स वितरित कर मनाया।इस मौके पर सनमीक हैनरी ने कहा कि सफाई कर्मचारी दिन-रात मेहनत कर शहर को साफ-सुथरा रखने में अपना योगदान दे रहे हैं। इसके तहत उन्होंने अपना जन्मदिन कोरोना योद्धाओं को कोरोना राहत सामग्री देकर मनाया।
इस मौके पर कांग्रेस के ब्लाॅक प्रधान राजेश भोला, शहरी प्रधान ईश्वर दास कबाड़िया, मार्केट कमेटी के चेयरमैन जसविंदर सिंह रिंपी, मार्केट कमेटी मूनक के वाइस चेयरमैन दीपक सिंगला, गुरलाल सिंह, अरपिंदर रूपी, रवि डसका, संजीव हनी, पुरषोतम गोयल, प्रवीण रोड़ा, दीप सिंह, बलजीत सिंह सराओ, अनिल मट्टू, एसएचओ सुरिंदर भल्ला, सिटी इंचार्ज पुरषोतम शर्मा आदि उपस्थित थे
एनआईए ने हिजबुल मुजाहिदीन के लिए नार्को टैरर फंडिंग रैकेट के अहम सूत्रधार अमृतसर के तस्कर रणजीत राणा उर्फ चीता को उसके भाई गगनदीप सिंह व साडू गुरमीत के साथ सिरसा से अरेस्ट कर लिया। एनआईए ने पंजाब व हरियाणा पुलिस के साथ शनिवार तड़के 3 से 5 बजे तक चले जॉइंट ऑपरेशन में यह सफलता हासिल की। पंजाब पुलिस को पाकिस्तान से नमक की बोरिया में छिपाकर लाई गई 532 किलो हेरोइन की खेप के मामले में चीता की तलाश थी।
चीता अपने साडू गुरमीत की आईडी पर गांव बेगू में किराये पर रहता था। यहां रहकर वह अमृतसर सीमा पर अपने मौसेरे भाईयों के जरिए पाक से ड्रग रैकेट भी चलाता रहा व पैसे हिजबुल को पहुंचाता रहा। शनिवार को सुबह एनआईए, सिरसा के एसपी डा. अरुण नेहरा, अमृतसर पुलिस के डीसीपी मुखविंदर सिंह, एसीपी गुरबाज सिंह व अभिमन्यु राणा समेत अन्य अधिकारियों ने छापेमारी कर इन्हें दबोच लिया।
हिलाल की गिरफ्तारी के बाद कड़ियां जुड़ती गईं
25 अप्रैल को अमृतसर में फंडिंग जुटाने आए आतंकी हिलाल अहमद के पकड़े जाने के बाद बुधवार को चीता के मौसेरे भाई अमृतसर निवासी बिक्रम सिंह उर्फ विक्की व मनिंदर सिंह उर्फ मनी को पकड़ा गया, जिनसे एक किलो हेरोइन व 32 लाख रुपए ड्रग मनी बरामद हुई। विक्की ने चीता के कहने पर ही हिजबुल मुजाहिदीन के आतंकी हिलाल को अमृतसर में 29 लाख रुपए दिए थे। इनसे पूछताछ के आधार पर हिजबुल से जुड़े गुरदासपुर के दो अन्य तस्कर जसवंत सिंह व रणजीत सिंह को शुक्रवार को गिरफ्तार करने में कामयाबी मिली, जो सिरसा में नाम बदलकर रह रहे चीता के संपर्क में थे। इनके मोबाइल से मिले सुराग से ही एनआईए व पंजाब पुलिस चीता तक पहुंची।
आईएसआई कंट्रोल्ड नार्को टैरर नैटवर्क की बड़ी मछली है चीता : डीजीपी
डीजीपी दिनकर गुप्ता के बताया कि रणजीत सिंह चीता पाकिस्तान प्रायोजित आईएसआई कंट्रोल्ड नार्को टैरर नेटवर्क की बड़ी मछली है। इसका लिंक हिजबुल कमांडर रियाज अहमद नायकू से था जो 7 मई को कश्मीर में हुए एक सैन्य ऑपरेशन में मारा गया। नायकू का साथी हिलाल अहमद वागे रणजीत सिंह के मौसेरे भाईयों से अमृतसर में फंड लेने आया था।
उससे मिले अहम इनपुट को पंजाब पुलिस ने जेएंडके पुलिस से शेयर किया, जो हिजबुल कमांडर नायकू को खत्म करने में अहम साबित हुआ। रणजीत चीता देश के अहम ड्रग स्मगलरों में से एक है जो पंजाब, जम्मू कश्मीर व देश के अन्य हिस्सों में होने वाली टैरर फंडिंग व हथियारों की तस्करी में शामिल था।
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कोरोना से निपटने के लिए फाजिल्का के जिला अस्पताल में तैनात 5 महिला कर्मचारी मां होने के साथ अपने परिवार से ज्यादा ड्यूटी को प्राथमिकता दे रही हैं क्योंकि इस समय देश में कोरोना से पीड़ित लोगों के लिए जब सब दरवाजे बंद हो चुके हैं तो एकमात्र सरकारी अस्पतालों के ही दरवाजे खुले हैं जिसके भरोसे पीड़ित मरीजों को केवल डॉक्टरों व पैरामेडिकल स्टाफ का ही सहारा है। फाजिल्का के जिला अस्पताल में तैनात उक्त पांचों महिला कर्मचारियों की संतानें संयोगवश कन्याएं हैं।
इनमें एड्स काउंसलर पुष्पा वासी झुमियांवाली की 3 तथा 2 वर्षीय बच्चियां हैं, गांव निहालखेड़ा की स्टाफ नर्स फूलवती की 5 वर्षीय बच्ची हैं, लेबोरेट्री टेक्नीशियन सुखजीत कौर वासी सैनियां की 3 साल की लड़की हैं, गांव बहकखास की नीलम की 4 साल की बच्ची तथा धुनकिया की पूनम की 10 महीने की बच्ची है।
बच्ची से ज्यादा कोरोना रोगियों की सेवा को दे रही तरजीह : फूलवती
स्टाफ नर्स फूलवती का कहना है कि वह प्रतिदिन फाजिल्का से 23 किलोमीटर दूर गांव निहालखेड़ा से फाजिल्का के जिला अस्पताल में ड्यूटी के लिए आती हैं उसकी पांच वर्षीय बच्ची है और निरंतर अपनी ड्यूटी के दौरान 8 घंटे तक पीपीई किटें, मास्क व अन्य सावधानियों का प्रयोग करती हैं किंतु ड्यूटी के उपरांत अपने परिवार में बच्चों के पास पहुंचती हैं तो उनके मन में एक भय या डर सदैव छिपा रहता है। कहीं परिवार कोरोना से ग्रस्ति न हो जाएं।
ड्यूटी के समय अतिरिक्त सावधानियों का प्रयोग करती हूं : पुष्पा रानी
एड्स काउंसलर पुष्पा रानी का कहना है कि ड्यूटी के समय वह अतिरिक्त सावधानियों का प्रयोग करती हैं। फिर भी घर पर बच्ची की जिम्मेदारी का अहसास तथा अस्पताल से जाते ही बच्चों के उनके साथ चिपकने की लालसा को नियंत्रित रखती हैं व अपने घर पर जाकर पहले हाथ व शरीर आदि को अच्छी तरह से साफ व सैनिटाइजर कर बच्चों को अपने पास आने देती हैं।
रोगियों काे बचाना सबसे बड़ा धर्म : नीलम
लैब टेक्नीशियन नीलम की 4 वर्ष की लड़की को अपने परिवार के पास छोड़कर फाजिल्का के जिला अस्पताल में कोरोना संदिग्ध रोगियों की प्राथमिक जांच में जी-जान से जुटी हुई हैं। उनका कहना है कि इस वक्त उनका सबसे बड़ा धर्म कोरोना रोगियों को बचाना है।
कोरोना से लड़ने के लिए करती हैं प्रेरित :
आईसीटीसी काउंसलर सुखजीत कौर का कहना है कि जिला अस्पताल में आने वाले अधिकतर रोगी कोरोना से डरे होते हैं पर वह फर्ज निभाते हुए रोगियों को इससे लड़ने के लिए प्रेरित करती हैं ताकि रोगियों में बीमारियों से लड़ने की क्षमता बरकरार रहे।
मदर्स-डे पर विशेष... 6 माह की मासूम बच्ची को छोड़ ड्यूटी निभा रही एएनएम अमनदीप
फाजिल्का के सीएचसी डबवाला कलां के अंतर्गत पड़ते फाजिल्का के गांव बहक खास सब सेंटर में कार्यरत एएनएम अमनदीप के जज्बे को देखकर हर व्यक्ति का सलाम करने को मन करता है।
मात्र 6 माह के मासूम बच्ची की मां होने के बावजूद कोरोना महामारी से लोगों की सेवा करने के लिए हिम्मत और सेवा के जज्बे के साथ ड्यूटी देनी शुरू की। घर-घर जा कर बाहर से आए लोगों को ढूंढने और अपने सब सेंटर में पड़ते घर-घर जाकर कोरोना संबंधी सर्वे कर रही है। चाहे घर में एकांतवास किए लोगों की संभाल या टीकाकरण या फिर बाकी स्वास्थ्य प्रोग्रामों को लागू करना क्यों न हो, इस मां ने कभी पीछे मुड़ कर नहीं देखा। इसके साथ वह परिवार का भी ध्यान रख रही हैं। मदर्स-डे के मौके पर अमनदीप जैसी मांओं को सलाम।
वार्ड में आने वाले बच्चों में देखती है अपनी बेटी
स्टाफ नर्स पूनम धुनकिया मां की ममता पर नियंत्रण कर जिला अस्पताल में आने वाले हर बच्चे में अपनी 10 माह की बच्ची को देखती हैं तथा उसकी कोशिश है कि जिस वार्ड में उसकी तैनाती है उस वार्ड में आने वाला हर छोटा-बड़ा रोगी निरोग होकर घर लौटे।
फाजिल्का मलोट रोड पर स्थित ढाणी खरास वाली के निकट एक तेज रफ्तार पिकअप गाड़ी ने दो व्यक्तियों को कुचल दिया, जिससे एक व्यक्ति की मौत हो गई, जबकि दूसरा गंभीर घायल हो गया। जिसे फाजिल्का के सिविल अस्पताल में दाखिल करवाया गया है। सरवेश कुमार (42) पुत्र सुदामा लाल निवासी ढाणी खरास वाली, जोकि ट्रक चालक है, बीती देर शाम अपना काम निपटाने के बाद अपने रिश्तेदार मान सिंह पुत्र पप्पू निवासी ढाणी खरास वाली पैंथर मोपेड पर अपने घर जा रहा था, जब वह अपने घर के निकट पहुंचा तो फाजिल्का मलोट रोड पर अरनीवाला की तरफ से तेज गति से आ रही पिकअप गाड़ी ने गलत साइड पर जाकर उन्हें टक्कर मार दी।
जिससे दोनों गंभीर जख्मी हो गए। तेज रफ्तार गाड़ी ने इन्हें टक्कर मारने से पहले एक आवारा पशु को टक्कर मारी थी, जिसकी मौके पर ही मौत हो गई। इसके बाद पिकअप गाड़ी के चालक ने इन्हें कुचला। सड़क पर जा रहे राहगीरों व ग्रामीणों ने उन्हें फाजिल्का के सिविल अस्पताल में पहुंचाया, जहां डाक्टरों ने सरवेश कुमार की हालत गंभीर देखते हुए फरीदकोट रेफर कर दिया गया, मगर उसकी रास्ते में ही मौत हो गई। पुलिस ने शव कब्जे में लेकर सिविल अस्पताल से पोस्ट मार्टम करवाया।
पुलिस ने ट्रक चालक के मालिक अमरजीत के बयान पर पिकअप गाड़ी के चालक गुरप्रीत निवासी आनंदपुर मोहल्ला के खिलाफ मामला दर्ज करके कार्रवाई शुरू कर दी है। पुलिस ने क्षतिग्रस्त वाहनों को कब्जे में ले लिया है। मृतक के पांच छोटे बच्चे हैं, जिनमें 4 लड़कियां हैं। मृतक के गांववासियों ने कहा कि मृतक चालक गरीब परिवार से संबंधित था। उन्होंने पीड़ित परिवार की आर्थिक मदद की गुहार लगाई है।
पर्यावरण सुरक्षा के मद्दे नजर सरकार के आदेशों पर जिला प्रशासन ने किसानों को गेहूं के नाड़ को जलाने पर मनाही के निर्देश दिए हैं, परंतु किसानों द्वारा गेहूं की नाड़ को आग लगाने का सिलसिला जारी है। शनिवार को शहर टीवाना के बारे वाला रोड पर एक किसान के खेतों में नाड़ को आग लगाई गई जिससे धुआं आसमान में फैल रहा था।
नाड़ को आग लगाने से सड़क पर आने वाले वाहन चालकों को भी कई बार हादसों का शिकार होना पड़ता है। आसमान में उठा धुआं वातावरण की संभाल व हादसों पर काबू डालने के लिए सरकार द्वारा गेहूं के नाड़ व खेती से संबंधित और अवशेष को आग लगाने पर मनाही के आदेश जारी किए हुए हैं, परंतु दूसरी ओर किसान इन नियमों की प्रवाह न करते हुए आदेशों को ताक पर रख कर गेहूं के नाड़ को आग लगाने में गुरेज नहीं कर रहे हैं।
नाड़ को आग लगाने वाले आरोपी पर मामला दर्ज
फाजिल्का के गांव हौज गंधड़ में अपने खेत में मौजूद गेहूं की नाड को आग लगाने वाले आरोपी पर थाना सदर पुलिस ने मामला दर्ज किया है। जांच अधिकारी हरदेव सिंह ने बताया कि उनको करनैल सिंह वासी हजो उर्फ गंधड़ ने बयान दर्ज करवाए थे कि उसके पड़ोसी किसान प्रेम सिंह वासी हौज उर्फ गंधड़ ने अपने खेत में गेहूं की फसल काटने के बाद नाड़ को आग लगा दी जिससे आसपास के खेतों के किसानों का नुकसान हो गया। पुलिस ने आरोपी पर धारा 188, 427 के तहत केस दर्ज कर लिया है।
कोरोना की लड़ाई में लगे कम्युनिटी हेल्थ सेंटर के डॉक्टरों और स्वास्थ्य कर्मियों को आज अरनिवाला के प्रीत पैलेस में सम्मानित किया गया। फूल मालाएं पहना कर उनकी हौसला अफजाई की गई। आज अरनीवाला के नगर पंचायत के पूर्व प्रधान सुखदेव ठेठी और नगर के गणमान्य लोगों ने स्टाफ को सम्मानित करते हुए कहा कि इलाके में बने क्वारेंटाइन सेंटर में बकायदा टीमों ने सभी लोगों के कोरोना के सैंपल लिए हैं जोकि भीषण गर्मी में बहुत ही साहस का काम है।
इसके अलावा अपनी जान की परवाह न करते हुए अपनी ड्यूटी नि:स्वार्थ भाव से कर रहे हैं जोकि काबिले तारीफ है। इस दौरान इलाके में बने क्वारेंटाइन सेंटरों में जिन स्वास्थ्य कर्मियों की ड्यूटी लगी थी उन्होंने भी दिन-रात लोगों की बहुत सेवा की है। जिसमें गर्भवती औरतें और बच्चे भी शामिल हैं। समाजसेवक व पत्रकार तोता राम, प्रताप भटेजा ने डॉक्टर पंकज वर्मा को सिरोपा भेंट किया। इस दौरान ब्लॉक मॉस मीडिया इंचार्ज दिवेश कुमार ने सभी का धन्यवाद करते हुए कहा कि ऐसे प्रोग्राम से फील्ड में लगे स्वास्थ्य कर्मियों का हौसला बढ़ता है और लोगों को भी प्रेरणा मिलती है कि सेहत विभाग दिन-रात आम जनता के सेवा में लगा हुआ है।
इस दौरान डॉक्टर अमित गुगलानी, अमित जसूजा, लैबटेक्निशन दिनेश शर्मा, प्रभजीत कौर, सैनेटरी इंस्पेक्टर बलजीत सिंह, कम्युनिटी हेल्थ अफसर जगदीश कौर, वंदना, हेल्थ वर्कर तरसेम सिंह, वरिंदर सिंह, गुरजीत सिंह, संदीप राजा, एएनएम गुरिंदर कौर, सीमा रानी को सम्मानित किया गया।
अलायंस क्लब की ओर से होशियारपुर रोड दाना मंडी में यूनियन बैंक के बाहर दाना मंडी में काम करने वाले 500 प्रवासी एवं मजदूरों को हैंड सैनिटाइजर, मास्क और दस्ताने दिए। इस दौरान बतौर मुख्यातिथि डिस्ट्रिक्ट गवर्नर एली जतिंदर सिंह कुंदी ने अलायंस क्लब की ओर से किए जा रहे सेवा कार्यों की प्रशंसा करते हुए कहा कि इस महामारी से बचने के लिए हमें खुद अपनी जिम्मेदारी समझते हुए सरकारके निर्देशों का पालन करना चाहिए। उन्होंने कहा कि जालंधर, कपूरथला, करतारपुर आदि जगह पर भी इसी तरह हैंड सैनिटाइजर, मास्क और दस्ताने बांटे जाएंगे।
अलायंस क्लब के रीजन चेयरमेन एली सुरिंदर मित्तल ने कहा कि आज देश में सबसे ज्यादा जरूरत गरीब मजदूरों एवं मध्यम वर्गीय परिवारों तक राहत और जरूरी सामान पहुंचाने की है और नर सेवा ही नारायण सेवा है।अलायंस क्लब फगवाड़ा सर्विस के प्रधान एली विपन हांडा ने कहा कि इसीलिए क्लब की ओर से फैसला लिया गया कि दाना मंडी में काम करने वाले मजदूर खुद सेनिटाइजर और मास्क नहीं खरीद सकते, उन्हें क्लब की ओर से यह सामान बांटे जा रहे हैं। मौके पर एली राजीव सूद, अजय भगत, रणजीत मलहंन, सुनील बेदी, संदीप गिल, गुरजीत वालिया आदि मौजूद थे।
कोरोनावायरस से पंजाब में बहुत सारे एकांतवास सेंटर बनाए गए हैं। जिनमें भारत के अलग-अलग राज्यों में पेट की भूख मिटाने के लिए और रोजी रोटी कमाने के लिए गए लोगों को पंजाब सरकार की तरफ से इस महामारी के चलते वापस लाकर एकांतवास किया गया है। इसी के अंतर्गत ही सरकारी मिडल स्कूल लक्खेके मुसाहिब में बने एकांतवास सेंटर में ड्यूटी निभा रहे अध्यापक हरनेक चंद ने बताया कि इस सेंटर में 38 लोगों को एकांतवास किया गया है। इनमें 4 बच्चे भी हैं।
ये लोग हरियाणा, राजस्थान और चेन्नई में मजदूरी करने के लिए गए थे। ये लोग जब मजदूरी करने गए थे तो कुछ अपने बच्चों को साथ लेकर गए थे और कुछ इधर अपने घर अपने बच्चे को छोड़ गए थे, जो बच्चे घर रह गए थे, वे जब बनाए गए एकांतवास सेंटर में अपने परिवार को मिलने के लिए आते हैं तो उनको 8-10 मीटर दूर से ही बात करने दी जाती है।
कई बार तो उस समय पर माहौल भावुकता वाला हो जाता है।
आज इन 38 लोगों के सैंपल फाजिल्का जिले के साथ संबंधित डॉ. यूनिक गुप्ता, सुरिन्द्र कम्बोज, मेडिकल स्टाफ फार्मेसी अधिकारी जुगल किशोर और फार्मेसी अधिकारी जय नरेश पंकज आदि की टीम ने पूरी मुस्तैदी बरतते हुए और लेबोरेट्रियों को भेज दिए। इस एकांतवास सेंटर में जो लोग एकांतवास किए गए हैं वे जलालाबाद हलके गांवों के साथ संबंधित हैं।
फगवाड़ा सब-डिवीजन में बीते दिन शुक्रवार को कोरोना के पांच नए केस आने के बाद हलका विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल ने पुलिस प्रशासन, सिविल प्रशासन और सेहत विभाग के आधिकारियों से आपसी तालमेल ओर बेहतर बनाने के लिए कार्पोरेशन दफ्तर के कॉन्फ्रेंस हॉल में विचार-विमर्श किया।
मीटिंग में सिविल सर्जन कपूरथला डॉ. जसमीत कौर बावा के अलावा एडीसी राजीव वर्मा, एसएमओ डॉ. कमल किशोर, एसपी मनविंदर सिंह, इंस्पेक्टर ओंकार सिंह बराड़, थाना सदर प्रभारी अमरजीत सिंह मल्ली, एसआई ऊषा रानी इंचार्ज थाना सतनामपुरा के अलावा डा. रमेश बंगा एसीएस कपूरथला, डा. मीनू बेदी नोडल अफसर फगवाड़ा, डॉ. रघबीर नोडल अफसर, डॉ. सतपाल एसएमओ जीएनए आइसोलेशन सेंटर, डॉ. रत्नपाल एसएमओ एलपीयू एवं डॉ. कांता एसएमओ पांछट मौजूद थे।
मीटिंग में जहां स्वास्थ्य विभाग को जीएनए यूनिवर्सिटी कैंपस में कोरोना मरीजों के लिए बनाए आइसोलेशन सेंटर में तैनात डॉक्टरी स्टाफ और पुलिस आधिकारियों को पीपीई किट, दस्ताने और सर्जिकल मास्क हर समय प्रयोग में लाने की हिदायत दी। वहीं, पुलिस प्रशासन को हिदायत दी कि सब-डिवीजन में कर्फ्यू के नियमों का सख्ती से पालन करवाया जाए। एडीसी राजीव वर्मा ने विश्वास दिलाया कि जीएनए कैंपस में आइसोलेशन सेंटर में उपचाराधीन कोरोना मरीजों को हर जरूरी सुविधा का प्रबंध किया गया है।
विधायक धालीवाल ने कहा कि पांच नए केस आने से लोगों को घबराने की जरूरत नहीं बल्कि सावधान होना चाहिए। प्रशासन ने जो नियम तय किए हैं, उनका पालन किया जाए। उन्होंने कहा कि आज की बैठक का उद्देश्य पुलिस, प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग में तालमेल को बेहतर बनाना था। इस अवसर पर ब्लाक कांग्रेस फगवाड़ा शहरी के पूर्व प्रधान गुरजीत पाल वालिया भी मौजूद थे।
एनआईए ने हिजबुल मुजाहिदीन के लिए नार्को टेरर फंडिंग रैकेट के अहम सूत्रधार अमृतसर के कुख्यात तस्कर रणजीत सिंह राणा उर्फ चीता को उसके भाई गगनदीप सिंह के साथ हरियाणा के सिरसा जिले से गिरफ्तार कर लिया। एनआईए ने पंजाब व हरियाणा पुलिस के साथ सुबह 3 से 5 बजे तक चले जॉइंट ऑपरेशन में शनिवार सुबह गांव बेगू से गिरफ्तार किया। पुलिस को अमृतसर में 29 जून 2019 को आईसीपी अटारी के जरिए पाक द्वारा नमक की बोरियों में छिपाकर भेजी गई 532 किलो हेरोइन की खेप के मामले में किंगपिन रहे चीता की तलाश थी।
एक मकान किराए पर लेकर गुरमीत सिंह बनकर 8 महीनों से रहता रहा
चीता उसके भाई गगनदीप और उसके साडू गुरमीत सिंह निवासी गांव वैदवाला सिरसा को गिरफ्तार कर एनआईए को सौंपा है। चीता अपने भाई गगनदीप के साथ उनके साडू गुरमीत सिंह निवासी गांव वैदवाला के की आईडी पर गांव बेगू जिला सिरसा में एक मकान किराए पर लेकर गुरमीत सिंह बनकर 8 महीनों से रहता रहा। यहां रहकर वह अमृतसर सीमा पर अपने मौसेरे भाईयों के जरिए पाक से ड्रग रैकेट भी चलाता रहा व उसके जरिए आने वाली राशि से हिजबुल को पहुंचाता रहा। टीम में एनआईए, सिरसा के एसपी डा. अरुण नेहरा, अमृतसर पुलिस के डीसीपी मुखविंदर सिंह, सहित अन्य अधिकारियों ने छापेमारी कर इन्हें दबोच लिया।
ऐसे जुड़ी कड़ियां
25 अप्रैल को अमृतसर में फंडिंग जुटाने आए आतंकी हिलाल अहमद वागे के पकड़े जाने के बाद जब मामला एनआईए के पास पहुंचा तो जांच के आधार पर बुधवार को चीता के मौसेरे भाई अमृतसर निवासी बिक्रम सिंह उर्फ विक्की व मनिंदर सिंह उर्फ मनी को पकड़ा गया, जिनसे एक किलो हेरोइन व 32 लाख रुपए ड्रग मनी बरामद हुई। विक्की ने चीता के कहने पर ही हिजबुल मुजाहिदीन के आतंकी हिलाल को अमृतसर में 29 लाख रुपए दिए थे।
इनसे पूछताछ के आधार पर हिजबुल से जुड़े गुरदासपुर के दो अन्य तस्कर जसवंत सिंह व रणजीत सिंह को शुक्रवार को गिरफ्तार करने में कामयाबी मिली, जो सिरसा में नाम बदलकर रह रहे चीता के संपर्क में थे। इनके मोबाइल से मिले सुराग से ही एनआईए व पंजाब पुलिस चीता तक पहुंची।
पाक के लिए अहम था चीता और उसका परिवार
रणजीत सिंह उर्फ चीता पाक सीमा से सटे तरनतारन के गांव हवेलियां का रहने वाला है जो अपने 5 भाईयों समेत पाक से हेरोइन तस्करी का नेटवर्क चलाता था। भाई कुलदीप सिंह जाली करंसी मामले में अमृतसर जेल में बंद है। दूसरा भाई बलविंदर सिंह बिल्ला 28 जुलाई 2019 को पठानकोट में 1 करोड़ ड्रग मनी व 1 किलो हेरोइन समेत एसटीएफ ने पकड़ा। अब ये दो भाई चीता व गगन पकड़े गए, जबकि सरबन सिंह अभी भी फरार है।
चीता के इस ड्रग रैकेट में दूसरा सबसे अहम नाम है इकबाल सिंह उर्फ शेरा निवासी हवेलियां है। इसके चाचा का नाम बलविंदर सिंह बिल्ला है जिसे 1 अगस्त 2019 को मोहाली पुलिस ने चंदपुर टोल पलाजा पर पौना किलो हेरोइन समेत पकड़ा था। मगर इकबाल सिंह अब तक हाथ नहीं लगा। पाक से होने वाली ट्रेड के जरिए आने वाली हेरोइन को चीता व इकबाल ही अपने गोदाम केे जरिए खपाते थे।
आईएसआई कंट्रोल्ड नार्को टेरर नैटवर्क की बड़ी मछली है चीता : डीजीपी
डीजीपी दिनकर गुप्ता ने बताया, रणजीत सिंह आईएसआई कंट्रोल्ड नार्को टेरर नेटवर्क की बड़ी मछली है। नायकू का साथी हिलाल रणजीत सिंह के मौसेरे भाईयों से अमृतसर में फंडिंग लेने आया था। उससे मिले इनपुट हिजबुल कमांडर नायकू को खत्म करने में अहम साबित हुआ। चीता पंजाब, जम्मू कश्मीर व अन्य हिस्सों में होने वाली टेरर फंडिंग व हथियारों की समगलिंग में शामिल था।
कोरोना महामारी के चलते नशा पीड़ित मरीजों को घर बैठे ही दवाई मुहैया करवाने के उद्देश्य से प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग की ओर से मोबाइल ओट क्लीनिक की शुरुआत 14 अप्रैल को की गई थी। सिविल सर्जन डॉ. जसमीत कौर बावा ने बताया कि ओट क्लीनिकों में बढ़ रही भीड़ और सोशल डिस्टेंसिंग के नियम की पालना के मद्देनजर यह कदम उठाया गया था। मुहिम के दूसरे पड़ाव के तहत आईसीटीसी काउंसलिंग वैन से एचआईवी टेस्टिंग भी की जाएगी। इसके तहत आईसीटीसी वैन जहां नशा पीड़ितों को दवाई मुहैया करवाएगी।
वहीं, एचआईवी टेस्टिंग और काउंसलिंग की सुविधा भी मुहैया करवाई जाएगी। उक्त वैन सप्ताह में 3 दिन अपनी सेवाएं मुहैया करवाएगी। डॉ. बावा ने अपील की कि दवाई लेने के लिए आने से पहले अच्छी तरह से हाथ धोएं। दवाई लेने के दौरान सोशल डिस्टेंसिंग मेनटेन रखते हुए कम से कम एक मीटर की दूरी बनाकर रखी जाए। मास्क बांध कर दवाई लेने जाए और स्वास्थ्य विभाग से सहयोग किया जाए।
नशा छुड़ाओ केंद्र के इंचार्ज डा. संदीप भोला ने बताया कि उक्त वैन मंगलवार को खीरांवाली, नवां पिंड भट्ठा, विला कोठी और डैणविंड के रुट पर, वीरवार को पलाही, खलवाड़ा और पंडोरी के रुट पर तथा शनिवार को चानाशेर सिंह, डेरा सैय्यदा व बड़ा जोध सिंह गांवों के रूट पर जाएगी। कोरोना वायरस के चलते नशे के पीड़ित मरीजों तक घर बैठे दवाई पहुंचाने के लिए जिले में पायलट प्रोजेक्ट के तहत मोबाइल ओट क्लीनिक की शुरुआत की गई है।
आंध्र प्रदेश के विशाखापत्तनम में एक बड़े औद्योगिक हादसे में हुए गैस रिसाव के मद्देनजर रेल कोच फैक्टरी कपूरथला में महाप्रबंधक रवीन्द्र गुप्ता के निर्देशों पर सेफ्टी ऑडिट की गई। ऑडिट में एलपीजी प्लांट, एलपीजी पाइप लाइन, कार्बन डाईऑक्साइड गैस प्लांट और कार्बन डाईऑक्साइड गैस पाइप लाइन का गहन निरीक्षण हुआ। इसमें सभी ज्वाइंट्स में लीकेज चेक किए। दोनों प्लांट की पाइप लाइन को बड़े ध्यान से जांचा गया। आरसीएफ मं एलपीजी गैस के 50 मीट्रिक टन की क्षमता वाले दो गैस प्लांट हैं।
पाइप लाइन की लंबाई दो किलोमीटर है। एलपीजी प्लांट के ऊपर एक ऑटो स्प्रिंकलर सिस्टम लगा हुआ है। जहां तापमान 40 डिग्री से बढ़ने पर पानी अपने आप बरसना शुरू हो जाता है। इस यंत्र को भी चेक किया गया। एलपीजी गैस प्लांट मेंे फाइव चैनल एलपीजी मॉनिट्रिंग सिस्टम लगा हुआ है। जहं से लीकेज होने पर अलार्म बजने लगता है। सेफ्टी के मद्देनजर, एलपीजी प्लांट में हर समय एक तकनीशियन और रेलवे सुरक्षा बल के जवान की ड्यूटी रहती है और लॉकडाउन के चलते भी यह ड्यूटी निर्विघ्न जारी रही। इस समय एलपीजी गैस पाइप लाइन को बदलने का काम भी जारी है।
इसके अलावा हॉल ही में 13 किलोमीटर लंबी कंप्रेस्ड एयर पाइप लाइन को भी एल्युमीनियम पाइप लाइन में बदला गया है। कार्बन डाइऑक्साइड गैस प्लांट की क्षमता 30 मीट्रिक टन है और इसका भी पूरी सावधानी से निरीक्षण किया गया। आरसीएफ के एंट्री गेट में प्रवेशकर्ताओं की स्क्रीन स्मार्ट कैमरे से जांच की व्यवस्था है।
नगर निगम के कमिश्नर राजीव वर्मा ने कोरोना योद्धा के रुप में काम करे सफाई सेवकों को फूल मालाएं पहनाकर सम्मानित किया गया और पुष्प वर्षा कर उनकी हौंसला-अफजाई की। नगर निगम सफाई कर्मचारी यूनियन के प्रधान अशोक कुमार जोगा, भगवान वाल्मीकि सेवक सुधार सभा के प्रधान पवन और कोषाध्यक्ष महिंदरपाल सोंधी की अध्यक्षता में आयोजित समारोह में नगर निगम के कमिश्नर राजीव वर्मा विशेष तौर पर शामिल हुए । उन्होंने संकट की इस घड़ी में शानदार काम कर रहे सफाई सेवकों को सम्मानित किया।
निगम कमिश्नर राजीव वर्मा ने कहा कि कोरोना आपदा में सफाई कर्मचारियों ने अपने स्वास्थ्य और सुरक्षा की चिंता किए बिना शहरवासियों की सेवा में पूरी ईमानदारी से अपनी ड्यूटी की है, जो प्रशंसनीय है। समारोह में नगर निगम के सुपरिंटेंडेंट अमित कालिया और सेनेटरी इंस्पेक्टर मलकीत सिंह मौजूद रहे। इस दौरान सफाई सेवकों को लडडू भी बांटे गए। इस मौके पर इश्र दास सेठी, दर्शन लाल गिल, सतपाल मट्टू, रकेश, देव राज सोंधी, सुनिल दत्त, रमन सरवटा, सुरिंदर कुमार, लाल चंद थापर, इंद्रजीत, राम लाल, अमित, अजय कुमार, संदीप कुमार, रजा सरवटा, नितिन सोंधी भी उपस्थित थे।
शिरोमणि श्री गुरु रविदास मंदिर प्रबंध कमेटी भी कोरोना आपदा से प्रभावित लोगों की सेवा कर रही है। कमेटी की ओर से लगाए जा रहे लंगर की देखरेख कर रहे यश बरना ने बताया कि प्रबंधक कमेटी की ओर से दानी सज्जनों और सेवादारों के सहयोग से जरूरतमंद परिवारों तक गुरु का लंगर पहुंचाया जा रहा है। गत 1 अप्रैल से यह सेवा जारी है। जब तक लॉकडाउन है, तक यह सेवा चलती रहेगी।
इस दौरान लंगर बनाने के लिए सभी प्रकार की सावधानियों का ध्यान रखा जा रहा है। लंगर बनाने वाले बार-बार खुद को सेनिटाइज कर रहे हैं। वीरवार को कमेटी की ओर से लगाए लंगर में थाना सिटी के एसएचओ ओंकार सिंह बराड़ विशेष रूप से पहुंचे। उन्होंने जरुरतमंदों को लंगर वितरित किया। इस मौके पर प्रचार सचिव सीटू बाई, यश बरना, नीटा हलवाई, धर्मवीर राजू, दीपा भगतपुरा, लक्ष्मण दास आदि समेत क्षेत्र के कई लोग भी उपस्थित थे।
वीरवार देर रात गांव लक्खन के पड्डे में एएसआई की ओर से लाइसेंसी रिवॉल्वर से फायर कर इंटरनेशनल कबड्डी खिलाड़ी अरविंदरजीत सिंह का बेरहमी से कत्ल कर दिया था। पंजाब सरकार और डीजीपी पंजाब ने आरोपी एएसआई परमजीत सिंह को डिस्मिस कर दिया। उसे कड़ी से कड़ी सजा दी जाए। यह बात यूथ अकाली दल दोआबा जोन के उप प्रधान अवि राजपूत ने कही। उन्होंने डीजीपी को अपील की कि एएसआई परमजीत सिंह की नौकरी खत्म की गई है। तुरंत ही अरविंद्रजीत के परिवार को बनता सम्मान दिया जाए। उन्होंने कहा कि परमजीत सिंह जैसे मुलाजिम दूसरे पुलिस मुलाजिमों का अक्स खराब कर रहे हैं।
महीने में एक बार पुलिस से की जाए बैठक
अवि राजपूत ने एसएसपी से निवेदन किया कि महीने में एक बार पुलिस अधिकारियों और कर्मचारियों के साथ बैठक कर पुलिस अधिकािरयों को जरूरी बातें बताई जाएं। मौके पर गगनदीप राजपूत, चाहत पूरी, सचिन सहगल, कुलदीप, राजा सिद्धू, धीरज नैय्यर, सुमित, ओम चावला, गोलू उपस्थित थे।
मई महीना शुरू होने से गर्मी ने भी अपना प्रकोप दिखाना शुरू कर दिया है। तापमान 40 डिग्री तक पहुंच गया है। कपूरथला में इन दिनों चिलचिलाती धूप और झुलसा देने वाली गर्मी ने शहरवासियों की दिनचर्या को बुरी तरह से प्रभावित किया है। लोग कर्फ्यू के कारण पहलेे ही घरों में बैठे हुए हैं। जहां पहले लोग घर से बाहर निकलने के समय गर्मी से बचने के लिए मुंह पर रुमाल और कपड़ा बांध लेते थे। वहीं, अब लोग गर्मी से नहीं बल्कि कोरोना महामारी से बचने के लिए मास्क बांधकर निकल रहे है।
शहर के सभी चौकों, बाजारों, हाईवे और मुख्य मार्गों पर पुलिस टीमें तैनात, महिला मुलाजिम छाता लेकर दे रहीं ड्यूटी
इधर, भीषण गर्मी के बीच लोगों की सुरक्षा को लेकर पुलिस कर्मी ड्यूटी पर डटे हुए हैं। देश में लॉकडाउन और कर्फ्यू लगे हुए 50 दिन हो गए हैं। तभी से लोग घरों में बैठे हुए हैं। सभी कामकाज बंद हैं। ऐसे में लोगों को कुछ राहत दी गई है। जिला मजिस्ट्रेट कपूरथला दीप्ति उप्पल ने सुबह 7 बजे से दोपहर 3 बजे तक दुकानें खोलने के निर्देश जारी किए हैं। इस बीच लोग बाजारों में जरूरी वस्तुओं की खरीदारी कर सकते हैं। वहीं, दोपहर के समय गर्मी का प्रकोप जोरों पर है। ऐसे में लोग भी बाहर जाने से कतराते है।
3 बजे के बाद शहर की अधिकतर सड़कों पर सन्नाटा छा जाता है। कुछ सड़कों पर इक्का-दुक्का लोग ही जाते हुए दिखाई देते हैं। कर्फ्यू को लेकर शहर के सभी चौकों, बाजारों, हाइवे और मुख्य मार्गों पर पुलिस टीमें तैनात की गई हैं। गर्मी दिन प्रतिदिन बढ़ती जा रही है। पुलिस कर्मी अपनी ड्यूटी पूरी ईमानदारी से निभा रहे हैं। कई पुलिस नाकों पर तो महिला पुलिस धूप से बचने के लिए छाता लेकर ड्यूटी कर रही हैं।
कोरोना वायरस महामारी के चलते समाज सेविका अनीता सोमप्रकाश ने 30 आशा वर्करों को राशन सामग्री वितरित की। अनीता ने वर्करों को राशन सामग्री वितरित करते हुए लॉकडाउन का पालन करने की सलाह दी। उन्होंने कहा कि इस संकट के समय में हरेक भारतवासी अपने देश के साथ मजबूती के साथ खड़ा है और हर नागरिक को अपनी जिम्मेदारी निभानी है। अनीता ने कोरोना वायरस के चलते मोदी सरकार की ओर से देशभर में किए लाकडाउन के दौरान लोगों को घरों में रहने की अपील की है।
जरूरतमंदों को प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत दी जाने वाली गेहूं और दाल देने के बदले में जरूरतमंद लोगों से डिपो होल्डर की ओर से प्रति व्यक्ति 50 रुपए वसूले जा रहे थे। किसी ने इसकी शिकायत खाद्य आपूर्ति विभाग को दे दी। विभाग के कंट्रोलर ने मौके पर छापेमारी कर उक्त डिपो को रंगे हाथ पकड़ लिया। इसके बाद डिपो होल्डर का लाइसेंस रद्द कर पुलिस को कार्रवाई करने के लिए लिखा।
खाद्य आपूर्ति विभाग के कंट्रोलर सरताज सिंह ने शिकायत मिलने पर डिपो पर की छापेमारी
3 माह का दे रहे राशन, प्रति व्यक्ति 5 किलो गेहूं, एक किलो दाल मिल रही
कोरोना वायरस महामारी के चलते प्रधानमंत्री नरिंदर मोदी ने पंजाब के जरूरतमंद लोगों के लिए 66 हजार 870 मीट्रिक टन अनाज मुफ्त बांटने के लिए भेजा था। यह अन्न पंजाब में डिपो होल्डरो की ओर से जरूरतमंद लोगों तक पहुंचाया जाना था। प्रति व्यक्ति को 3 महीने का राशन देना था। प्रति व्यक्ति को 5 किलो गेहूं और 1 किलो दाल दी जानी थी। शनिवार दोपहर मोहल्ला कायमपुरा स्थित डिपो होल्डर ने इस निशुल्क अनाज बांटे जाने के बदले 50 रुपए वसूलने शुरू कर दिए। जब इस सबंधी डिपो होल्डर चंदनप्रीतपाल सिंह से संपर्क करने का प्रयास किया गया तो उनका मोबाइल स्विच ऑफ था। इस कारण उनके साथ संपर्क नहीं हुआ सका है।
खाद्य आर्पूति विभाग के कंट्रोलर सरताज सिंह ने बताया कि उन्हें सूचना मिली थी कि कोविड-19 के संबंध में फैली महामारी के चलते केंद्र सरकार की ओर से जरूरतमंद लाेगों के लिए प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत तीन महीनों के लिए भेजी गई गेहूं और दाल देने के बदले मोहल्ला कायमपुरा का डिपो होल्डर चंदनप्रीतपाल सिंह पुत्र सतपाल सिंह आहलूवालिया पर्चियां बांट रहा था। प्रति पर्ची के एवज में हर व्यक्ति से 50 रुपए वसूले जा रहे थे। उन्हें किसी ने शिकायत की।
शिकायत मिलते ही वह टीम के साथ मौके पर पहुंच गए, जहां डिपो होल्डर प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत दिए जाने वाले अनाज के बदले में लोगों से 50 रुपए वसूलता पाया गया। मौके पर ही उसका पीडीएस लाइसेंस नंबर 30 रद्द कर दिया गया और उसके खिलाफ कानूनी कार्रवाई के लिए पुलिस विभाग को लिखा गया है।
विदेश से लौटने वालों में अधिकतर लोग भुलत्थ व आसपास के क्षेत्रों के रहने वाले
शनिवार को जिले के लिए राहत की खबर आई है। पीटीयू में क्वारेंटाइन किए श्री हजूर से लौटे 42 पुलिस मुलाजिमों में से 36 की रिपोर्ट निगेटिव आई है। वहीं, 6 की रिपोर्ट पेंडिंग है। वहीं, श्री हजूर साहिब से लौटे 18 श्रद्धालुओं की भी रिपोर्ट निगेटिव आई है। स्वास्थ्य विभाग ने इन लोगों को अब पीटीयू से अपने घर में ही क्वारेंटाइन होने के लिए कहा है।
शनिवार को स्वास्थ्य विभाग ने कुल 30 लोगों के सैंपल लिए हैं। इसमें से सिविल अस्पताल के फ्लू कॉर्नर में पहुंचे 27 लोगों के सैंपल लिए। इसके अलावा सिविल अस्पताल के आइलोलेशन वार्ड में भर्ती फगवाड़ा के एक ही परिवार से संबंधित 3 पॉजिटिव मरीजों के फिर से सैंपल लेकर जांच के लिए भेजे है। इनकी रिपोर्ट सोमवार या मंगलवार को आने की संभावना है।
होटलों और स्कूलों में ठहरने से पहले जांच होगी
कोरोना वायरस के चलते जहां पहले पंजाब में भारी गिनती में श्री हजूर से श्रद्धालु पहुंचे थे और प्रदेश में कोरोना पॉजिटव के मरीजों की संख्या में बढ़ौतरी हो गई थी। अब विदेशों में फंसे पंजाबियों को अपने देश लाने की प्रक्रिया शुरू हो गई है। ऐसे में कहीं न कहीं प्रदेश में और खतरा बढ़ सकता है। वहीं, विदेश से आए पंजाबियों को होटलों में ठहराने की व्यवस्था की जा रही है यानि उनकों होटलों में क्वारेंटाइन किया जाएगा। पंजाबी प्रवासियों को होटल भेजने से पहले मेडिकल जांच भी की जाएगी।
विदेश से जिले में 900 लोगों के जल्द लौटने की संभावना, होटलों में ठहरने के किए जा रहे प्रबंध
कपूरथला| श्रद्धालुओं के बाद अब केंद्र सरकार विदेशों में फंसे एनआरआई को लाने की तैयारी कर रही है। श्री हजूर साहिब से पंजाब लौटे 4200 श्रद्धालुओं में से एक हजार से ज्यादा श्रद्धालु कोरोना वायरस पॉजिटिव मिले हैं। उनकी रिपोर्ट आने के बाद पॉजिटिव मरीजों का इजाफा हो जा रहा है। इधर, पंजाब में एनआइआई अपने देश आने के लिए विदेशों से रवाना हो रहे हैं।
सरकार का मानना है कि विदेशों में आने वाले पंजाबियों की वापसी के दौरान बेहद सावधानी रखनी होगी। सरकार की ओर से डीसी और सेहत विभाग को अलर्ट किया गया है। जिले की डीसी ने भी कहा है कि भुलत्थ और आसपास क्षेत्र से संबंधित एनअारआईज वापस अपने गांव पहुंच रहे हैं। उन्हें ठहराने के लिए होटल मालिकों से बातचीत की जा रही है। कुछ लोगों को सरकारी स्कूलों में क्वारेंटाइन किया जाएगा।
फगवाड़ा के तीन मरीज सिविल में हैं क्वारेंटाइन
एपीडीमोलोजिस्ट डॉ. राजीव भगत ने बताया कि शनिवार को कुल 30 सैंपल लेकर टेस्ट के लिए भेजे हैं। 3 सैंपल आइसोलेशन वार्ड में भर्ती एक ही परिवार के 3 पॉजिटिव मरीजों के दोबारा लिए गए है। उन्हें आइसोलेशन वार्ड में भर्ती हुए 14 दिन हो गए हैं। इन सेंपलों की रिपोर्ट सोमवार या मंगलवार को आने की संभावना है। रिपोर्ट आने के बाद ही अगली कार्रवाई होगी।
एक होटल में 2 से ज्यादा लोग नहीं ठहरेंगे, खाना मेन्यू मुताबिक मिलेगा
वहीं, जिले में 900 के करीब एनआरआई आने की संभावना है। विभागीय सूत्र बताते हैं कि एनआरआईज के पहुंचते ही प्रशासन की ओर से उन्हें क्वारेंटाइन करने के आदेश दिए हैं। यही नहीं होटल के मेन्यू के मुताबिक इन्हें खाना भी उपलब्ध करवाया जाएगा। होटल में रुकने का सारा खर्च लोगों को खुद उठाना पड़ेगा।
एक होटल में दो से ज्यादा लोगों को नहीं रखा जाएगा। इतना ही नही दूसरे राज्यों में वापस अपने गांव लौटने वालों को सरकारी स्कूलों में क्वारेंटाइन किया जाएगा। वहीं, डीसी दीप्ति उप्पल का कहना है कि पंजाब में दोआबा क्षेत्र में अधिक संख्या एनआरआईज की है।
पीटीयू में 42 मुलाजिम और 18 श्रद्धालु क्वारेंटाइन
स्वास्थ्य विभाग कपूरथला के एपीडीमोलोजिस्ट डॉ. राजीव भगत ने बताया कि गत दिन श्री हजूर साहिब से लौटे 60 लोगों के सैंपल लेकर पीटीयू में क्वारेंटाइन किया था। इनमें से 42 पुलिस कर्मी शामिल हैं जबकि 18 श्रद्धालु थे। शनिवार शाम को 60 सैंपलों में से 54 सेंपलों की रिपोर्ट निगेटिव आई है। इनमें से 36 पुलिस मुलाजिमों की रिपोर्ट निगेटिव आई है। 36 पुलिस मुलाजिमों समेत 18 श्रद्धालुओं को पीटीयू से अब उनके घरों में ही क्वारेंटाइन किया गया है।
कोरोना वायरस जैसी भंयकर बीमारी में भी अपनों को बेइंतहा प्यार बांटने और उनकी देखभाल करने में दिन-रात जुटा हुआ है। वो शख्स कोई ओर नहीं बल्कि एक मां है। मां त्याग का वह शब्द है, जिसके आगे सभी शब्द फीके है। मां बच्चों के लिए अपनी खुद की इच्छाओं को पीछे छोड़ देती है। आज मदर्स डे है। जिंदगी में मां की अहमियत दर्शाने के लिए पूरी दुनिया में मदर्स-डे मनाने की परंपरा है।
कहा-दुकानदार ग्राहकों को सैनिटाइज करे
उन्होंने बताया कि दुकानदार अपनी दुकान के भीतर आने वाले ग्राहकों को सेनिटाइज करें। दुकानदार अपनी और ग्राहकों की सेफ्टी के लिए दुकान के भीतर 5 से ज्यादा लोग एकत्रित न करें। कोरोना वायरस जैसी खतरनाक बीमारी में भी महिला इतना प्यार, निस्वार्थ सेवा की भावना, दया, क्षमा, सहनशीलता और समर्पण भाव जैसे काम कर रही है। उन्होंने बताया कि कोरोना वायरस के चलते पिछले डेढ़ महीने से बच्चों को खुद से अलग कर दूसरे कमरे में रखा है। उनका कहना है कि जिन नियमों का पाठ वह समाज को पढ़ाती है, उन नियमों को घर पर भी फॉलो किया जाता है। पुलिस की डयूटी 24 घंटे होती है, इसलिए पता नहीं कब कहां जाना पड़े।
मई के दूसरे रविवार को हर साल मदर्स-डे मनाने के पीछे यह तथ्य छिपा है कि मां को स्पेशल फील करवाया जाए। वही मां भी त्याग और ममता की प्रतिमूर्ति है, जो बिना कहे अपने बच्चों की हर बात समझ लेती है। आइए आप से मां की ममता और समाज के प्रति कर्तव्य को दर्शाने वाली महिला की बात करते हैं। कोरोना वायरस जैसी भयंकर बिमारी के प्रति लोगों और दुकानदारों को जागरूक करने के लिए महिला पुलिस इंस्पेक्टर जसमेल कौर फ्रंट लाइन पर काम कर रही है।
रोजाना सुबह ड्यूटी पर जाने से पहले अपने दोनों बच्चों और पति के लिए खाना बनाती है। पुलिस विभाग ने उनकी ड्यूटी पेट्रोलिंग पर लगाई है। जहां सुबह पुलिस फोर्स को रोजाना काम का पाठ पढ़ाती है कि किस तरह से सड़कों पर नाकेबंदी की जाए। वहीं, कोरोना वायरस के प्रति दुकानदारों और लोगों को जागरूक कर रही है।
जालंधर बाईपास स्थित मेट्रो मार्ट के नजदीक तेज रफ्तार कार का टायर फटने से कारोबारियों की कार पलट गई। इससे एक कारोबारी की मौत हो गई, जबकि बाकी के दो जख्मी हो गए। मृतक की पहचान बलविंदर सिंह और घायलों की पहचान अनिल कुमार और अवतार के रूप में हुई। फिलहाल पुलिस ने उनके परिजनों को सूचित कर दिया है।
सलेम टाबरी पुलिस ने बताया कि तीनों कारोबारी काम के सिलसिले में दिल्ली गए थे। शनिवार दोपहर को वो वहां से वापस लौट रहे थे। इस दौरान जब वो जालंधर बाईपास के पास पहुंचे तो उनकी गाड़ी का टायर फट गया। इसके बाद उनकी गाड़ी अनियंत्रित होकर हवा में दो बार उलटकर सड़क के दूसरे किनारे जा गिरी।
हादसे के बाद कार की बुरी हालत हो गई और तीनों कार सवार उसी में फंसे रहे। आसपास के लोगों ने काफी मशक्कत करने के बाद तीनों को कार से बाहर निकाला और उन्हें अस्पताल पहुंचाया, जहां बलविंदर सिंह की मौत हो गई। पता चला है कि तीनों का कपड़े का कारोबार है। फिलहाल पुलिस ने उनके परिजनों को बुलाया है। इसके बाद आगे की कार्रवाई होगी।
पुलिस बोली-शिकायत लेकर करेंगे जांच
डाबा के गुरबचन नगर की गली 2 में चिट्टा तस्कर और खरीदार आपस में भिड़ गए। इस दौरान उन्होंने एक-दूसरे पर जमकर पत्थर बरसाए। इसके बाद परेशान इलाके के लोगों ने पहले पुलिस को शिकायत दी। पुलिस आने के बावजूद हमलावरों की तरफ से इलाके के लोगों को धमकाया गया। इसके बाद परेशान लोगों ने शनिवार को मेन रोड पर धरना प्रदर्शन किया। मौके पर पहुंचे थाना डाबा के एसएचओ पवित्र सिंह मौके पर पहुंचे।
उन्होंने कार्रवाई का आश्वासन देकर प्रदर्शन खत्म कराया। इलाके के लोगों ने बताया कि गली में एक परिवार पिछले 5-6 साल से चिट्टा तस्करी कर रहा है। शुक्रवार रात को किसी बात को नशा खरीदने वालों और तस्करों में झड़प हो गई।
दोनों पक्षों ने एक-दूसरे पर ईंट पत्थर बरसाए। इसके बाद इलाके के लोगों ने पुलिस को फोन किया। लोगों का आरोप है कि पहले भी 2 बार पुलिस को शिकायत की गई, लेकिन कार्रवाई नहीं हुई। जबकि तस्करों को पुलिस कई बार नशे समेत पकड़ चुके हैं। मगर फिर छूटकर आ जाते हैं। इससे परेशान होकर प्रदर्शन किया गया। एसएचओ पवित्र सिंह का कहना है कि पहले मामले की शिकायत नहीं आई थी, लेकिन शिकायत लेकर जांच कर कार्रवाई की जाएगी।
लॉकडाउन में चोरी और लूट की वारदातों को अंजाम देने के आरोपी को थाना डेहलों की पुलिस ने गिरफ्तार किया है। उसकी पहचान अरुण कुमार उर्फ सोनी शर्मा के रूप में हुई है। उसके मामा का बेटा दिनेश भारद्वाज उर्फ बनी उर्फ सोनू फरार है। अरुण के कब्जे से चोरी के 2 बाइक बरामद किए थे। पूछताछ में आरोपी ने बताया कि वो वही वाहन चुराते थे, जिसमें चाबी लगी होती थी। आरोपी की निशानदेही पर 7 एक्टिवा बरामद की गई। अरुण ने बताया कि दिनेश उसके मामा का बेटा है, वो उसके चोरी किए वाहनों को खन्ना में बेचता था।
पंजाब में कोरोना वायरस का संक्रमण थमने का नाम ही नहीं ले रहा। शनिवार को सूबे में दो और लोगों की जान इस खतरनाक वायरस ने ले ली।लुधियाना मेंश्री हुजूर साहिब नांदेड़से लौटे56 वर्षीय गुरजंट सिंह को शनिवार तड़केहार्ट अटैक हुआ। जिले के गांव मानूके के रहने वाले गुरजंट की 30 अप्रैल को रिपोर्ट पॉजिटिव आई थी। इसके बाद सिविल हॉस्पिटल लुधियाना में एडमिट किया गया था। जिले में अब 6 मौतें हो चुकी हैं, लेकिन नांदेड़ से लौटने वाले किसी व्यक्ति की पहली मौत है।
उधर, होशियारपुर जिले में शनिवार कोएक मरीज की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। तलवाड़ा के 62 वर्षीय ओंकार सिंह की बीती 7 मई को मौत हो चुकी है, लेकिन कोरोना संक्रमण की पुष्टि शनिवार को हुई है। बताया जाता है कि सिर पर चोट लगने की वजह से काफी समय पीजीआई चंडीगढ़ से नियमित उपचाराधीनचल रहा था। इस संबंधी सिविल सर्जन डॉ.जसवीर सिंह ने बताया कि इस मौत के साथ जिला होशियारपुर में कोरोना वायरस के चलते मरने वालों की संख्या 4 हो गई है।
कहां कितने लोगों की रिपोर्ट पॉजिटिव आई आज
शनिवार को जालंधर जिले मेंसबसे ज्यादा 17 लोगों को कोरोना संक्रमण की पुष्टि हुई। इसके अलावा फतेहगढ़ साहिब में 5, रोपड़ में 4, पठानकोट में 2 लोगों की रिपोर्ट पॉजिटिव आई। इसी तरह होशियारपुर, पटियाला और कपूरथला में भी आज 1-1 व्यक्ति कोरोना संक्रमित मिला। इनमें से होशियारपुर में पुष्टि मौत के बाद हुई है।
किस जिले में फिलहाल क्या स्थिति है?
जिले का नाम | कुल संक्रमित | ठीक हो चुके | अब तक हुई मौतें |
अमृतसर | 287 | 8 | 3 |
जालंधर | 175 | 17 | 5 |
तरनतारन | 157 | 0 | 0 |
लुधियाना | 125 | 8 | 6 |
गुरदासपुर | 116 | 0 | 1 |
नवांशहर | 103 | 18 | 1 |
पटियाला | 96 | 14 | 2 |
मोहाली | 95 | 52 | 3 |
होशियारपुर | 90 | 6 | 4 |
संगरूर | 88 | 3 | 0 |
मुक्तसर | 65 | 1 | 0 |
मोगा | 56 | 4 | 0 |
फरीदकोट | 45 | 3 | 0 |
फिरोजपुर | 43 | 1 | 1 |
बठिंडा | 40 | 0 | 0 |
फाजिल्का | 39 | 0 | 0 |
पठानकोट | 29 | 10 | 1 |
फतेहगढ़ साहिब | 28 | 2 | 0 |
कपूरथला | 24 | 2 | 2 |
बरनाला | 21 | 1 | 1 |
मानसा | 20 | 5 | 0 |
रोपड़ | 20 | 2 | 1 |
शुक्रवार कोऔरंगाबाद में रेल हादसे का शिकार हुए 16 मजदूरों के शव शनिवार को सुबह 11.30 बजेट्रेन से जबलपुर लाए गए। इसके बाद उनके गृह जिलों शहडोल और उमरिया मेंउनके गांवममान और चिल्हारी ले जाया गया।देर शाम शवों का अंतिम संस्कार कर दिया गया। अपनों केक्षत-विक्षतशव देखकर परिजन बदहवास हो गए। घर कीमहिलाओं को संभालना मुश्किल हो गया। शहडोल के अंतौली गांवमें 9 मजदूरों के शवकोपरिजनोंकी इच्छा पर एक साथदफनाया गया। वहीं उमरिया के ममान गांव में 4 औरएकमजदूर की चिल्हारी गांव मेंअंत्येष्टि की गई।प्रशासन ने परिजनों को तत्कालिक राहत के तौर पर एक-एक लाख रुपए केचेक सौंपे हैं।
उमरिया से शवों को उतारकर ट्रेन रवाना हुई तो4 बजे बजे शहडोल पहुंची। प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारियों की मौजूदगी में शवों को ट्रेन से उतरवाकर एंबुलेंस में गांव के लिए रवाना किया गया। हादसे में मारे गए 11 लोगशहडोल के अंतौली गांव के रहने वाले थे, यह सभीआपस में सगे-संबंधी थे। यह लोग एक ही मोहल्ले के रहने वाले थे। ऐसे मेंपूरे गांव में मातम पसरा रहा। मृतकों में तीन भाई भीथे। यहां 9 शवों को परिवार की इच्छा के बाद दफनाया गया।
उमरियामें प्रशासन ने कराया अंतिम संस्कार
उमरिया जिले में आज औरंगाबाद ट्रेन हादसे में मरने वाले 5 श्रमिकों के शव विशेष ट्रेन द्वारा लाकर उनके गृह ग्राम ममान ले जाया गया, जहां पर प्रशासन की उपस्थिति में अंतिम संस्कार कर दिया गया।ट्रेन के पहुंचने पर बड़ी संख्या में लोगस्टेशन के बाहर पहुंच गए। हालांकि, पुलिस ने सभी को बाहर रोक दिया। इसके बाद एंबुलेंस में चार मजदूरों के शवों कोममान पाली भेजागया। इस एंबुलेंस में ही हादसे में जीवित बचे वीरेंद्र सिंह को भेजा गया। वीरेंद्र, शवों के साथ ही ट्रेन से पहुंचेथे। वहीं, एक अन्य मजदूर का शवचिल्हारी मानपुर भेजा गया।
शहर में कोरोनावायरस के नए मरीज मिलने का सिलसिला लगातार जारी है। शनिवार रात आई रिपोर्ट में 78 लाेगों में इस बीमारी की पुष्टि की गई जिससे शहर में संक्रमितों का आंकड़ा बढ़कर 1858 पर पहुंच गया है। वहीं लगातार पॉजिटिव मरीज मिलने से 17 मई को लॉकडाउन खुलने की संभावना नगण्य है, इंदौर में लॉकडाउन 30 मई तक जारी रह सकता है। हालांकि इसमें चरणबद्ध तरीके से छूटें मिलती जाएंगी। जब तक पॉजिटिव मरीज मिलेंगे, राहत नहीं मिलेगी। राजबाड़ा, 56 दुकान जैसी भीड़ वाली जगहें दो से तीन महीने तक खुलना मुश्किल है। मॉल, टॉकिज भी नहीं खुलेंगे, क्योंकि जून-जुलाई में फिर वायरस के पीक पर आने की आशंका है।
शनिवार रात आई रिपोर्ट के अनुसार इंदौर में कोरोना पॉजिटिव मरीजों की संख्या बढ़कर 1858 हो गई है। शनिवार को 1196 सैंपलों में से 1118 की रिपोर्ट निगेटिव आई जबकि 78 की पॉजिटिव। सीएमएचओ कार्यालय के अनुसार अब तक इंदौर जिले में 13940 सैंपलों की जांच रिपोर्ट प्राप्त हो गई है। वहीं अब तक इस बीमारी से 89 लोगों की मौत हो चुकी है। एक राहत वाली बात यह है कि 891 मरीज इस बीमारी से पूरी तरह से ठीक भी हो चुके है। वर्तमान में 878 कोरोना पॉजिटिव मरीजाें का उपचार विभिन्न अस्पतालों में किया जा रहा है।
घर के पास वाली बैंक शाखा से ले सकेंगे पेंशन, जाकर देना होगा आवेदन
बैंक बंद होने से पेंशनरों को पेंशन लेने मेंसमस्या आरही है। एेसे में कलेक्टर मनीष सिंह ने आदेश जारी किया है कि पेंशनरों को घर के पास वाली पेंशन संबंधी बैंक की शाखा में जाकर आवेदन करना होगा। संबंधित बैंक लीड बैंक मैनेजर को ई-मेल कर इसकी जानकारी देंगे और ऑनलाइन मंजूरी लेंगे। मंजूरी मिलने पर बैंक पेंशनर को तय समय देकर उन्हें बुलाएंगे। यह मंजूरी 11 से 25 मई तक के लिए जारी की है। पेंशनर काे बैंक जाने-आने के लिए अलग पास की जरूरत नहीं होगी। उन्हें पेंशन बुक, पेंशन पेमेंट आर्डर आदि साथ में रखना होगा। बैंक पेंशनराें तक पहुंचने के लिए मोबाइल वैन के जरिए कियोस्क भी चला सकते हैं। इसके लिए बैंक प्रबंधन एडीएम बीबीएस तोमर के पास आवेदन कर कियोस्क की मंजूरी ले सकते हैं। जिले में अभी करीब सवा लाख पेंशनर हैं।
यहां रविवार काे दाे और काेराेना संक्रमित सामने आए। इसके साथ ही संक्रमिताें का आंकड़ा बढ़कर 237 हाे गया। वहीं, मृतकोंकी संख्या 45 हाे गई है। इसके पहले शनिवार को 16 और कोरोना पॉजिटिव मरीज मिले थे। इनमें दो की मौत हो गई है। आरडी गार्डी मेडिकल कॉलेज में ड्यूटी दे रहे 36 साल के डॉक्टर को भी कोरोना संक्रमण मिला है। उन्हें मरीजों से यह संक्रमण हुआ। डॉक्टर का घर आगर रोड पर शिवांश पैराडाइज सिटी में है। प्रशासन उस क्षेत्र को कंटेनमेंट एरिया बनाया है। लगातार कोरोना मरीजों के सामने आने के बाद अब रविवार सुबह से पूरे शहर का सर्वे शुरू किया गया। इसके लिए शनिवार को सर्वे टीम को नानाखेड़ा स्टेडियम में प्रशिक्षण दिया था।
कलेक्टर आशीष सिंह ने बताया इससे घबराने की जरूरत नहीं है, मरीज सामने आएंगे तो उनका इलाज होगा। संक्रमण और ज्यादा फैलने से रुकेगा। सर्वे होने से बीमार मरीज सामने आएंगे। इससे अगले एक सप्ताह में संक्रमित मरीजों का आंकड़ा 320 पार होने के आसार हैं। इधर, राहत इस बात की है कि11 मरीज और ठीक हो गए हैं। जिनकी मौत हुई, उनमें अब्दालपुरा निवासी 62 वर्षीय पुरुष और केडी गेट निवासी 43 वर्षीय महिला शामिल हैं। जिले में अब तक 45 मरीजों की मौत हो चुकी है।
वेद परिवार के 24 सदस्य कोरोना पॉजिटिव
मध्यप्रदेश के सबसे ज्यादा संक्रमित सदस्यों वाले परिवार ने कोरोना के खिलाफ आधी जंग जीत ली है। बड़नगर के वेद परिवार के 24 सदस्य कोरोना पॉजिटिव पाए थे। इनमें से चार की मौत हो चुकी है। शनिवार को दो सदस्य ठीक होकर घर लौटे। इससे पहले 7 सदस्य डिस्चार्ज हो चुके हैं। इनमें 20 माह का बच्चा भी है। बाकी 11 सदस्य इंदौर के अरबिंदो मेडिकल कॉलेज में भर्ती है, जिनके स्वास्थ्य में लगातार सुधार हो रहा है। यहां उन्हें 10 दिन हो गए हैं। अगले छह-सात दिन में उनके भी ठीक होने की उम्मीद है।
परिवार के सदस्य की जुबानी, कोरोना से जंग की कहानी...
हमारा परिवार कई दशकों से बड़नगर के शिवाजी रोड पर रहता है। हम 250 सदस्य है। परिवार में सोना-चांदी, जरनल स्टोर्स, नमकीन, मिठाई के व्यापारी और डॉक्टर, इंजीनियर, बैंककर्मी, सेल टैक्स अफसर, वैज्ञानिक हैं। बड़नगर के अलावा इंदौर, मुंबई और विदेश में भी कुछ सदस्य रहते हैं। हमारे घर कोरोना इतनी चालाकी से घुसा कि पता ही नहीं चला। 30 मार्च को परिवार के बुजुर्ग व मेरे बड़े पापा रमेश वेद उम्र 72 साल का निधन हो गया। इनकी कोरोना जांच नहीं हुई। अभी इन्हें खोने का गम था ही कि 9 दिन बाद 8 अप्रैल को रमेश जी के लड़के नीलेश वेद उम्र 44 साल का निधन हो गया। स्वास्थ्य विभाग की टीम आई, सैंपल लिए। दो दिन बाद रिपोर्ट निगेटिव आई तो राहत की सांस ली कि कोरोना का कहर नहीं है, लेकिन 20 अप्रैल को मेरे एक और बड़े पापा डॉ. पुष्पेंद्र वेद उम्र 70 साल का निधन हो गया। इन्हें इंफेक्शन था, कोरोना जांच नहीं कराई। इनके अंतिम संस्कार के कुछ घंटे बाद ही काका राजकुमार वेद उम्र 62 साल की तबीयत बिगड़ी और मौत हो गई।
जिले में शनिवार को 6 नए कोरोना संक्रमित मरीज जांच में सामने आए हैं। इनमें से एक प्रसूता भी शामिल है। हालांकि, महिला ने रिपोर्ट आने से पहले ही बच्ची को जन्म दिया है। जच्चा और बच्ची दोनों स्वस्थ हैं। अन्य जो पांच मरीज सामने आए हैं ये सभी दूसरे रेड जोन वाले शहरों से ग्वालियर आए हैं। इन पांच लोगों में से एक को छोड़ अन्य सभी बिना परमीशन के शहर में आए हैं। इन सभी को सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल में भर्ती करा दिया गया है। अब तक जिले में 27 कोरोना संक्रमित मरीज मिल चुके हैं जिसमें से 11 मरीज सिर्फ दो दिन में मिले हैं। 8 मरीज डिस्चार्ज होकर अपने घर जा चुके हैं। उधर भिंड में लगातार दूसरे दिन एक और कोरेना मरीज पाया गया है।
नया बाजार स्थित कौल हॉस्पिटल में दो दिन पहले बच्चे को जन्म देने वाली महिला कोरोना संक्रमित पाई गई है। सिकंदर कंपू स्थित सरदारजी का कॉम्पलेक्स के फ्लैट सी-205 स्थित मायके में पिछले तीन माह से रह रहीं कोमल पत्नी अनिल जैसवानी में संक्रमण की पुष्टि पैथकाइंड लैब ने की। कोमल का ससुराल माधौगंज कमाठीपुरा स्थित शीतला माता मंदिर के पास है। बताया गया है कि 20 मार्च को कोमल का भाई जयपुर से आया था। 5 मई की रात को उसे तेज प्रसव पीड़ा हाेने पर परिजन ने कौल हॉस्पिटल में भर्ती कराया था। यहां 6 मई को महिला ऑपरेशन से पहले डॉक्टरों ने कोरोना का टेस्ट प्राइवेट लैब पैथकाइंड से कराया। 7 मई को दोपहर में ऑपरेशन से महिला ने एक बच्ची को जन्म दिया है। यह ऑपरेशन वरिष्ठ स्त्री रोग विशेषज्ञ डॉ. रत्ना कौल ने किया था। जच्चा और बच्ची दोनों स्वस्थ है।
5 सीनियर डॉक्टरों के सैंपल लेकर किया गया होम क्वारेंटाइन
जेएएच में मेडिसिन विभाग के जूनियर डॉक्टर डॉ. आकाश गढ़वाल के कोरोना संक्रमित पाए जाने के बाद शुक्रवार रात से शनिवार तक हड़कंप की स्थिति रही। प्रबंधन ने आईसीयू, डायलिसिस यूनिट और पॉइजन वार्ड को पूरी तरह से बंद कर दिया। डॉ. आकाश डायलिसिस यूनिट में ड्यूटी कर रहे थे। अगले दो से तीन दिन तक आईसीयू, डायलिसिस यूनिट और पॉइजन वार्ड में मरीज भर्ती नहीं किए जाएंगे। इनके मरीज अन्यत्र भर्ती किए जाएंगे, लेकिन डायलिसिस यूनिट पूरी तरह बंद रहेगी। यहां पदस्थ डॉक्टर और स्टाफ की रिपोर्टर आने के बाद आगे की रणनीति तय की जाएगी।
तीन माह पहले पति के साथ मायके आई कोमल, 7 मई को दिया बेटी को जन्म
कौल हॉस्पिटल हुआ बंद, जेएएच के तीन वार्ड सील
ग्वालियर में कोरोना संक्रमित मरीजों का असर अब निजी और सरकारी अस्पतालों पर होने लगा है। नया बाजार स्थित कौल हॉस्पिटल में एक प्रसूता के कोरोना संक्रमित पाए जाने के बाद इस अस्पताल को क्वारेंटाइन किया गया है। यहां नए मरीज भर्ती नहीं किए जाएंगे। पूरे स्टाफ के सैंपल भी कराए जाएंगे। निजी लैब से शनिवार को जांच रिपोर्ट आने के बाद कौल हाॅस्पिटल में हड़कंप मच गया। उधर जेएएच के एक जूनियर डॉक्टर के संक्रमित पाए जाने के बाद शनिवार को यहां आईसीयू, डायलिसिस यूनिट और पॉइजन वार्ड को सील कर दिया गया।
लॉकडाउन के दौरान कुछ लोग राजस्थान से अपने घर ग्राम कुठौंदा लौटे। डॉक्टराें ने इन्हें होम क्वारेंटाइन किया, लेकिन ये लोग पूरे गांव में घूम रहे हैं। शुक्रवार शाम को भी यह प्रवासी लोग गांव में घूमते पाए जाने पर एक युवक ने टोक दिया और कहा कि आप राजस्थान से आए हैं इसलिए घर में रहें। इसी बात पर प्रवासी लोगों ने एक राय होकर लाठी, लुहांगी, लाठियों से युवक व उसके परिवार के साथ न केवल मारपीट की बल्कि उसी के घर के आंगन में खड़े होकर हवाई फायर भी किए। घायल हालत में सातों लोग इंदरगढ़ अस्पताल पहुंचे और इलाज के दौरान पुलिस को बयान देकर प्रवासी लोगों के खिलाफ मामला दर्ज कराया।
ग्राम कुठौंदा निवासी सुदामा (30) पुत्र श्यामबिहारी कुशवाहा ने पुलिस को बताया कि शुक्रवार को शाम 7.30 बजे वह अपने घर के दरवाजे पर खड़ा था तभी सामने रोड पर दीपेंद्र परमार अौर चंद्रभान परमार वहां आकर खड़े हो गए। फरियादी सुदामा ने दीपेंद्र से कहा कि तुम राजस्थान से काम करके वापस लौटे हो, कोरोना बीमारी फैल रही है, तुमको 14 दिन तक अपने घर में रहना चाहिए। इसी बात पर दीपेंद्र परमार गाली गलौज करने लगा। रोकने पर दीपेंद्र और चंद्रभान अपने घर चले गए। 15 मिनट बाद दीपेंद्र, चंद्रभान, बॉबी बुंदेला, भूपेंद्र परमार, लखन परमार, सिंध पाल परमार और भगवान सिंह चौहान घर के अंदर घुस आए।
आरोपियों ने फरियादी सुदामा के साथ-साथ उसके दादा ग्याप्रसाद कुशवाहा, पिता श्याम बिहारी, भाई नरेंद्र कुशवाहा, ताऊ गनेशी कुशवाहा और चाची शीला कुशवाहा के लाठी, सरिया से सिर फोड़ दिए। आरोपियों ने फरियादी के आंगन में खड़े होकर हवाई फायर किए और जान से मारने की धमकी देकर भाग निकले। जानकारी मिलने पर डायल-100 मौके पर पहुंची और घायलों को इंदरगढ़ अस्पताल पहुंचाया। यहां इंदरगढ़ थाना पुलिस ने सभी के बयान दर्ज किए और आरोपी दीपेंद्र परमार, चंद्रभान, बॉबी बुंदेला, भूपेंद्र, लखन परमार, सिंधपाल, भगवान सिंह के खिलाफ मारपीट, हवाई फायर, बलवा और लॉकडाउन उल्लंघन का प्रकरण दर्ज किया है।
कोरोनावायरस की भिंड जिले में दो दिन पहले हुई दस्तक के बाद अब खतरा बढ़ता जा रहा है। गुजरात के अहमदाबाद से 5 दिन पहले गोहद आए एक युवक की रिपोर्ट भी कोरोना पॉजिटिव आई है। ऐसे में दो दिन में कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या दो हो गई है। इसके अलावा दिल्ली से आए रवि की बाइक को भी प्रशासन ने गोहद के एंडोरी गांव से बरामद कर लिया है। वहीं उसके साथ आए कक्का माहौर निवासी एंडोरी और मुकेश निवासी विरगंवा सहित संपर्क में आए अन्य लोगों के सैंपल लिए हैं। इसके अलावा उसके मित्र इरफान खान पुत्र नसरुद्दीन को होम क्वारेंटाइन किया गया है। साथ ही मेहगांव के वार्ड क्रमांक 12 व विरगंवा गांव को कंटेनमेंट किया गया है।
जिले में लगातार बाहर से आ रहे लोगों के साथ कोरोना ने भी भिंड में अपनी धमक देना शुरू कर दिया है। शनिवार को गोहद चौराहा रामनगर निवासी प्रदीप (26) पुत्र जिलेदार श्रीवास के कोरोना सैंपल की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। वह 4 मई को अहमदाबार से अपने मामा अन्य साथियों के साथ मुरैना आया था। जहां से वह गोहद स्थित अपने घर आ गया। 6 मई को उसके मामा की कोरोना पॉजिटिव रिपोर्ट आने पर भिंड जिला प्रशासन ने प्रदीप को उठाकर जिला अस्पताल में क्वारेंटाइन कर दिया। साथ ही कल शुक्रवार को उसका सैंपल जांच के लिए भेजा गया, जिसकी रिपोर्ट पॉजिटिव आई है।
अहमदाबाद से झाबुआ तक का सफर तय किया साइकिल से, फिर बस से आए मुरैना
प्रदीप अपने मुरैना निवासी मामा और अन्य साथियों के साथ अहमदाबाद से साइकिल चलाकर झाबुआ बॉर्डर पर पहुंचे। जहां भोजन करने के बाद वे बस में सवार हो गए। उसके मामा मुरैना में उतर गए। उन्होंने मुरैना जिला अस्पताल पहुंचकर चेकअप कराया। तो उनका सैंपल जांच के लिए भेजा गया। जबकि प्रदीप अपने घर गोहद आ गया था। दो दिन बाद 6 मई को मामा के संक्रमित पाए जाने पर उनके कांटेक्ट लिस्ट के आधार पर मुरैना से भिंड में सूचना आई तो प्रदीप को क्वारेंटाइन किया गया। अब प्रदीप के भी कोरोना पॉजिटिव आने पर उसके संपर्क में आए लोगों की हिस्ट्री निकाली जा रही है। हालांकि े अधिकारियों का कहना है कि वह ज्यादा लोगों के संपर्क में नहीं रहा है। वहीं प्रदीप की पत्नी और बच्चे को घर में ही क्वारेंटाइन किया गया है।
30 रिपोर्ट आई, जिसमें 1 पॉजिटिव, 29 निगेटिव
शनिवार को जिले में 30 सैंपल की जांच रिपोर्ट आई, जिसमें प्रदीप को छोड़कर शेष 29 के सैंपल की रिपोर्ट निगेटिव आई है। वहीं एक दिन पहले मिले कोरोना पॉजिटिव रवि के साथ आए कक्का माहौर निवासी एंडोरी, मुकेश निवासी विरगंवा और उससे मिलने आए मामा-मामी सहित 18 संदेहियों के सैंपल भी जांच के लिए भेजे गए हैं।
मेहगांव का वार्ड-12 और विरगंवा गांव सील
संक्रमित के मिलने के बाद प्रशासन ने उसके साथ आए कक्का माहौर और मुकेश को भी जिला अस्पताल में आइसोलेट कर दिया है। साथ ही उनके घर को सेनेटाइज भी किया गया है। इसके अलावा रवि के दोस्त इरफान को भी होम क्वारेंटाइन किया गया है । साथ ही उसके मोहल्ले एवं विरगंवा गांव को सील किया गया है।
कोरोना की मार पुरुषों की तुलना में महिलाओं पर 19.54 %ही है। लेकिन महामारी ने बच्चों में बसने वाली मां की जान हर दिन मुश्किल में डाली है। ऐसे ही शहर की हजारों मां कोरोना से टक्कर ले रही हैं। आइए पढ़ते हैं...
1. मां, जिसकी 21 दिन की बेटी पॉजिटिव, अस्पताल में बच्ची के साथ रह रहीं
मनीषा राजौरे ने 16 अप्रैल को बच्ची को जन्म दिया। 1 मई को नवजात व उसकी दादी में संक्रमण की पुष्टि हुई। 21 दिन की बच्ची को लेकर मां चोइथराम अस्पताल पहुंच गई। मनीषा कहती हैं- मैं यहां एक कमरे में ही रहती हूं। मास्क लगाकर रखती हूं। बच्ची को लाए थे तब हालत ठीक नहीं थी। अब वह खिलखिलाने लगी है।
2. मां, जो खुद कोविड अस्पताल में नर्स, बच्चों से दूर हुए एक महीना गुजर गया
नर्स प्रमिला कटारा की ड्यूटी कोविड अस्पताल में लगी है। उनके बड़े बेटे की उम्र 10, छोटे की 6 साल है। दोनों को भाई के यहां भेज दिया है। एक महीना हो गया। बच्चों से रोज फोन पर बात करती हैं। बच्चे एक ही बात पूछते हैं- मम्मी! ड्यूटी कब खत्म होगी। उन्हें दिलासा देती हूं कि जैसे ही ड्यूटी खत्म होगी, ले जाऊंगी।
3. मां, जिसका बेटा पढ़ाई के लिए इंदौर में, टिफिन क्या बंद हुआ हो गईं परेशान
लखनऊ के श्याम पटेल इंदौर से ही फार्मास्युटिकल की पढ़ाई कर रहे थे। यहीं काम शुरू कर दिया। परिवार लखनऊ में रहता है। लॉकडाउन के बाद से श्याम का टिफिन आना बंद हो गया। लखनऊ में मां के लिए यह घड़ी इम्तिहान की हो गई। बेटे के भूख और प्यास की चिंता में रोज़ परेशान होती।
4. मां, जिसकी बेटी ने साहस के साथ सामना किया टाटपट्टी बाखल में पत्थरों का
टाटपट्टी बाखल में पथराव का शिकार हुई डॉ. तृप्ति कटारिया की मां प्रतिभा बेटी से मिलना चाहती हैं, लेकिन वह अभी क्वारेंटाइन है। पथराव की घटना पर वे बोलीं- यह सुनते ही डर गई थी। बेटी को फोन किया तो उसने कहा कि वह ठीक है। तब जान में जान आई। मेरा आशीर्वाद है कि जितने कर्मवीर हैं, वह सुरक्षित रहें।
5. मां, कोरोना से लड़ रहीं, घर में मौजूद ढाई माह का बच्चा ही इनका हौसला
तिलक नगर में कपाड़िया परिवार में लक्षण नहीं होने के बावजूद दो बहनों की रिपोर्ट पॉजिटिव आ गई। इनमें एक का बच्चा ढाई महीने का और दूसरी बहन का डेढ़ साल का था। उन्हें अरबिंदो हाॅस्पिटल में भर्ती किया गया। दोनों बच्चों का घर पर ही नानी और मामा ही ख्याल रख रहे थे। ढाई महीने का बच्चा तो समझ ही नहीं सकता था, इसलिए मां सिर्फ उसे वीडियो कॉल पर ही निहार लेती थी जबकि डेढ़ साल की बच्ची तो मां को इतना याद करती थी कि मां वीडियो कॉल पर भी उससे बात करने की हिम्मत नहीं जुटा पाती थी। बच्चों को घर पर छोड़ मांओं ने अस्पताल में कोरोना की जंग जीती। लेकिन 14 दिन आइसोलेशन में ही रहना है।
6.और ये मां, मरीजों-डॉक्टरों की, काम के बीच विदेश बसे बच्चों की खैरियत पूछती हुई
देवास में काेराेना के 4 नए मरीज शनिवार काे मिले हैं। इनमें से दाे पहले से इलाजरत काेराेना के मरीज भवानीसागर के सब्जी विक्रेता के बेटा और बेटी हैं। एक शांतिपुरा का युवक और एक महाेसीनपुरा के बुजुर्ग हैं। अब जिले में काेराेना के कुल 38 मरीज हाे गए हैं।
राहत की बात यह है कि शनिवार काे तीन और मरीज ठीक हाेकर घर भी लाैटे। दाे अमलतास हाॅस्पिटल से और एक इंदाैर के अरबिंदो हाॅस्पिटल से। इन तीन काे मिलाकर अब ठीक हाेने वाले मरीजाें की संख्या 16 हाे गई है। अब तक 7 लाेगाें की माैत हुई है। यानी शेष 15 मरीजाें का इलाज चल रहा है। शनिवार काे 34 लाेगाें की जांच रिपाेर्ट आई। 4 पाॅजिटिव आए। 2 सैंपल रिजेक्ट हाे गए।
भवानी सागर के सब्जी विक्रेता के पाॅजिटिव आने पर उनके घर के सदस्याें के सैंपल लिए गए थे। इसमें उनका 14 साल का बेटा व 18 साल की बेटी पाॅजिटिव आई है। पत्नी और दाे अन्य बच्चाें की रिपाेर्ट निगेटिव आई है। दाे अन्य मरीज में से एक 45 साल के पुरुष शांतिपुरा से हैं। वे प्राइवेट कंपनी में काम करते हैं। लाॅकडाउन के बाद से कंपनी बंद पड़ी है। एक अन्य मरीज माेहसीनपुरा से हैं। वे राेडवेज के चालक के पद पर थे। 66 साल की उम्र है। इन दाेनाें मरीज का पहले से अमलतास अस्पताल में चल रहा है। सब्जी वाले के परिवार काे टीम ने आशीर्वाद गार्डन में बनाए गए क्वारैंटाइन सेंटर में रखा था। दाे बच्चाें की पाॅजिटिव रिपाेर्ट अाने पर उन्हें अमलतास अस्पताल में रैफर किया गया। दाेनाें दिखने में एकदम स्वस्थ लग रहे हैं।
जिले के सबसे कम उम्र के काेराेना पाॅजिटिव 3 साल के मुमताज की मां साहिबा संक्रमित नहीं थीं। 14 दिन तक अपने बच्चे के साथ रहीं और उसे काेराेना के जाल से निकाल लाईं। काेराेना उनकी ममता काे छू न सका, क्याेंकि बच्चे के साथ रहने के बाद भी उनकी जांच रिपाेर्ट निगेटिव ही आई। बच्चे काे ठीक हुए एक सप्ताह हाे चुका है और अब वह घर में मुस्कान बिखेर रहा है।
साहिबा जिला अस्पताल में बिताए उन 14 दिनाें काे याद करते हुए बताती हैं- जब बच्चे की रिपाेर्ट पाॅजिटिव आई और कहा गया कि बच्चे काे लेकर मुझे परिवार से अलग एक कमरे में रहना पड़ेगा ताे घबरा गई थी लेकिन बच्चे की जान बचाने के लिए यह जरूरी था। डाॅक्टर ने कहा बच्चे काे खुद से दूर रखाे लेकिन इतने छाेटे बच्चे काे कैसे दूर रख सकती थी। पूरे समय मास्क लगाती थी, हाथ में ग्लब्ज पहने रखती थी। बच्चा बड़ी मुश्किल से मास्क पहनता, क्याेंकि उसकी साइज बड़ी थी। फिर सिस्टर अपने घर से बच्चे के लिए उसकी साइज का छाेटा मास्क बना कर लाई।
वीडियाे काॅलिंग कर परिवार से बात कराती थी
मुमताज को जब याद आजाती, बाेलता- पापा के पास चलाे, दादा के पास चलाे। वीडियाे काॅलिंग कर उनसे बात कराती। कभी उसके पापा, कभी दादा-दादी, कभी बुअा वीडियाे काॅल कर बात कर उसका समय काटते। दिन में उसे बहलाकर सुला देती। दाे-तीन घंटे एेसे निकल जाते थे। माेबाइल में पाेयम सुनाती, बाेलता था मम्मी जाॅनी-जाॅनी यस पापा वाली सुनाअाे। लूडाे गेम खेलने के लिए माेबाइल दे देती ताे उसमें समय बीतता। कभी जिद करने लगता ताे बाेलती थी, बाहर पुलिस है। यह डर ताे कभी रहा ही नहीं कि इससे मुझे भी काेराेना हाे जाएगा।
चाॅकलेट दी ताे सिस्टर काे कहने लगा दादी
साहिबा बताती हैं- बच्चा एक जैसा खाकर कई बार बाेर हाे जाता था। एक बार ताे डाॅक्टर से ही बाेल दिया कि राेज राेज दाल खिलाते हाे, कभी पनीर नहीं खिलाते हैं। सिस्टर ने चाॅकलेट लाकर दी ताे उन्हें दादी कहने लगा। स्टाफ कभी बिस्किट, कभी चाॅकलेट, कभी अंगूर लाकर देते थे।
औरंगाबाद में ट्रेन हादसे का शिकार हुए 16 मजदूराें के शव शनिवार शाम को उनके गांव पहुंचे। उमरिया के ममान और शहडोल के अंतौली में शवों के पहुंचते ही चीख पुकार मच गई। महिलाएं रोते-रोते बेहोश हो गईं। अफसरों की मौजूदगी में उमरिया के चिल्हारी व ममान गांव में पांच चिताएं जलीं, वहीं शहडोल जिले के अंतौली गांव में सूर्यास्त हाे जाने के कारण ग्रामीणों की सहमति से एक साथ नौ शवों को दफनाया गया।
किसानों से धोखाधड़ी तीन के खिलाफ केस
गेहूं खरीदी में किसानों के साथ धोखाधड़ी का मामला उजागर हुआ है। सेवा सहकारी संस्था बिजरौनी द्वारा उपार्जन केंद्र पीएच वेयर हाउस बदरवास पर उपज खरीदी के दौरान किसानों से ताैल के नाम पर ज्यादा गेहूं लिया जा रहा था। यही नहीं गेहंू में नमी बताकर किसानों से 5 किग्रा वेयरहाउस का कर्मचारी ले रहा था और सैंपल पास करने के एवज में सर्वेयर पांच सौ से एक हजार रुपए वसूल रहा था। शिकायत के बाद सहायक समिति प्रबंधक ओमप्रकाश ओझा, सर्वेयर मोहन बिहारी और वेयर हाउस कर्मचारी हरिओम ग्वालियर के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है।
राजीव खंडेलवाल भाजपा के नए जिलाध्यक्ष होंगे। जिला अध्यक्ष के लिए भाजपा संगठन स्तर की रायशुमारी कई महीनों पहले ही हो गई थी लेकिन रायशुमारी में सबसे आगे रहे दुर्गेश अग्रवाल के नाम पर आम सहमति नहीं बन पाई थी। इसके चलते नियुक्ति रोक दी गई थी। इसी तरह अन्य जिलों में भी विवाद की स्थिति बनने के कारण नियुक्तियां रोक दी गई थी। बाद में सरकार बनाने में भाजपा संगठन व्यस्त हो गया। अब शनिवार को आदेश जारी किया गया है। इसमें राजीव खंडेलवाल दुर्गेश अग्रवाल से आगे रहे। उनके नाम पर सभी गुटों ने सहमति जता दी है।
नगर के एमजी रोड स्थित मदार छल्ला चाैक पर सैलून संचालक द्वारा कटिंग-दाढ़ी बनाने पर पुलिस द्वारा शनिवार को कार्रवाई की गई। नगर परिषद के सीएमओ राजेश पिता सीएस मिश्रा ने आरोपी राजेश पिता बाबूलाल को मदार छल्ला स्थित वनविभाग की दीवार के पास दुकान खोलकर लोगों की दाढ़ी-कटिंग बनाते देखा। पुलिस ने केस दर्ज कर लिया है।
लॉकडाउन में गुजरात के मोरवी जिले में फंसे करीब 15 मजदूराें को शुक्रवार शाम को बागली लाया गया। ये सभी खेती कार्य करने के लिए गुजरात गए थे। सभी बेहरी के समीप चारबड़ी पंचायत के कामठ गांव के निवासी हैं। बागली सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में स्वास्थ्य परीक्षण के बाद सभी काे रात करीब 9 बजे बस से चौपाल तक छोड़ा गया। प्रशासन द्वारा बस की व्यवस्था कर लोगों को घर तक पहुंचाया गया।
नगर निगम स्वास्थ्य विभाग की टीम के द्वारा विशेष रूप से सैनिटाइजर का स्प्रे किया जा रहा है। इसके अलावा बारिश से पूर्व शहर के नाले-नालियाें का भी विशेष सफाई अभियान जारी है। यह कार्य निगम आयुक्त विशालसिंह चाैहान के निर्देशन में सतत जारी है। बड़े फायर वाहन, नई आधुनिक ट्रैक्टर मशीनों के साथ ही स्प्रे पम्प से निगम कर्मचारियों के द्वारा शहर सैनिटाइजर का स्प्रे किया जा रहा है। निगम की स्वीपिंग मशीन से शहर मे सफाई कार्य किए जाने, बड़े नालों, नालियों, चैम्बरों की सफाई कर उनकी गाद निकाली जा रही है।
गुजरात से प्रदेश के मजदूरों को लेकर 22 डिब्बों की पहली श्रमिक स्पेशल ट्रेन मेघनगर स्टेशन पर सुबह 8 बजकर 5 मिनट पर पहुंची। शाम साढ़े 4 बजे दूसरी ट्रेन पाेरबंदर से पहुंची। दोनों ट्रेनों में ढाई हजार से ज्यादा लोग यहां आए। यहां से बसों से उनके घर के लिए रवाना किया गया। पहली ट्रेन में प्रदेश के 7 जिलों के मजदूर आए। आने वाले चार दिनों में 5 और श्रमिक स्पेशल ट्रेनें आएंगी। शनिवार को आई पहली ट्रेन में आए लोगों को 380 रुपए का टिकट जूनागढ़ में दिया गया। लोगों ने बताया, टिकट का पैसा नहीं लिया गया। हालांकि इनमें से किसी को ये नहीं पता कि टिकट का पैसा किसने चुकाया। ज्यादातर बोले, सरकार ने ही दिया होगा।
पहली ट्रेन सुबह 7 बजे पहुंचना थी, लेकिन आते-आते 8 बज गई। कोरोना से बचाव और सोशल डिस्टेंसिंग के लिए खास प्रबंध किए गए थे। भारी पुलिस बल तैनात था, कई सारी टीमें स्वास्थ्य विभाग की तैनात थी, शिक्षकों की ड्यूटी लिस्टिंग के लिए लगाई गई थी, नगर पंचायत वाले छिड़काव और सामान के सैनिटाइजनेशन में लगे थे, स्वागत के लिए नेता भी पहुंच गए थे। खाने और नाश्ते का इंतजाम भी था। स्टेशन से निकलने के बाद लोगों को सीधे बसों में बिठाया गया, खाने के पैकेट दिए गए और रवाना कर दिया गया। जब तक ट्रेनों से आए लोगों की बसें यहां से नहीं चली गई, मेघनगर काे पूरी तरह से बंद रखा गया।
टिकट 1245, आए 1425 लोग
पहली ट्रेन में 1245 लोगों को टिकट दिए गए थे, लेकिन यहां जब स्क्रीनिंग की गई तो पता चला, 1425 लोग आए थे। दरअसल बच्चों के टिकट नहीं थे। उन्हें मिलाकर ये संख्या ज्यादा हो गई। शाम वाली ट्रेन में भी टिकट 1100 थे, लेकिन यात्री 1200 से ज्यादा थे।
प्लेटफॉर्म पर स्क्रीनिंग की, खाने के पैकेट देकर बसों में बैठाया
ट्रेन आने के बाद यात्रियों को नहीं उतरने दिया। शिक्षकों की टीमों को एक-एक डिब्बे की जिम्मेदारी लिस्टिंग के लिए दी गई। उन्होंने पूरी सूची बनाई। पहले डिब्बा नंबर 1 और डिब्बा नंबर 22 के यात्रियों को निकाला। प्लेटफॉर्म पर बनाए गोलों में कतार लगाई और स्क्रीनिंग के बाद खाने के पैकेट देकर बसों में बिठा दिया। इसके बाद डिब्बा नंबर 2 और डिब्बा नंबर 21 से यात्री उतारे। गाड़ी खाली होने में दो घंटे लगे। सांसद गुमानसिंह डामोर और उनके साथियों ने स्वागत किया।
कलेक्टर प्रबल सिपाहा, एसपी विनीत जैन, सीएमओ विकास डावर, रेलवे सुप्रींटेंडेंट मीणा, एसडीएम पराग जैन ने व्यवस्थाएं देखी। रोटरी क्लब अपना मेघनगर के असिस्टेंट गवर्नर भरत मिस्त्री, महेश प्रजापति, राजेश भंडारी ने भी सेवाएं दी। बच्चों के लिए दूध और बिस्किट दिए। मजदूरों को मास्क बांटे। बीआरसी कार्यालय से मंगलसिंह नायक, गुलाबसिंह खेड़ा, देवाराम मोरे, भेरूलाल सोलंकी, कय्यूम खान की ड्यूटी भी लगी थी।
किराया नहीं लगा, खाना भी मिला, यही तसल्ली
इंद्रपालसिंह ठाकुर जूनागढ़ से पन्ना जाने के लिए इस ट्रेन में आए। बोले, शुक्रवार को जब ट्रेन में बैठने आए, तब टिकट दिया था, लेकिन किराया नहीं लिया। रास्ते में खाना भी मिला। बताते हैं, आगे भी सारी व्यवस्था है। ये बड़ी तसल्ली की बात है। ट्रेन में आए ज्यादातर लोगों के पास पैसा नहीं है।
लोग पैदल आ गए, हम खुशनसीब की ट्रेन से आए
हरनाथ प्रजापति भी पन्ना जाने के लिए इस ट्रेन में जूनागढ़ से आए। बोले, लगातार सुन रहे थे, हजारों लोग पैदल चलकर अपने गांव जा रहे हैं। कई की मौत हो गई। हम खुशनसीब हैं कि ट्रेन में सुरक्षित आए।
उज्जैन से आए 21 प्रवासी मजदूरों की स्क्रीनिंग कर उन्हें होम क्वारेंटाइन किया गया। जनपद पंचायत सीईओ जोशुआ पीटर को सूचना मिली थी कि उज्जैन से एक बस में 21 लोग आ रहे हैं।
उन्होंने बीएमओ डॉ. जीएस चौहान को इसकी जानकारी दी। बस में आए 21 में से 7 लोग रामा ब्लॉक के थे। शेष में से 8 लोग ग्राम वगाई बड़ी और 6 ग्राम धामनी कटारा के थे। अस्पताल परिसर में इनकी जांच हुई। आवश्यक निर्देश देकर इन्हें वाहनों से इनके गांव पहुंचाया गया।
मातृ दिवस पर आपकाे ऐसीमां से मिलवाते हैं जिसने अपने बच्चाें काे मुकाम दिलाने के साथ पति काे भी नई जिंदगी दी। ये ग्राम चालनी की रामीबाई हैं। अनपढ़ रामीबाई की पाेती अाैर दामाद डाॅक्टर हैं। रामीबाई की बदाैलत ही पति गट्टू बामनिया पाेते-पाेतियाें के बीच सुखद जीवन बिता रहे हैं। संघर्ष से उभरी 60 साल की रामीबाई पर चालनी के हर व्यक्ति काे नाज है, क्याेंकि उन्हीं के कारण गांव के हर व्यक्ति काे समाज में सम्मान मिल रहा है।
15 साल की अायु में रामीबाई का विवाह हाे गया था। कुछ सालाें के बाद पति काे पेट में छाले हाे गए थे। आएदिन खून की उल्टियां हाेती थीं। पति के इलाज की चिंता में रामीबाई ने दर-दर की ठाेकरें खाई, लेकिन किसी ने मदद नहीं की। दूसरी तरफ तीनाें बच्चाें के भविष्य की चिंता भी थी। फिर भी रामीबाई ने हिम्मत नहीं हारी। चार एकड़ जमीन पर खुद ने खेती करना शुरू की। जाे पैसा अाया उससे बच्चाें काे पढ़ाया अाैर पति का भी इलाज कराया। इस बीच गट्टू के पेट के छाले की समस्या इतनी बढ़ गई कि काेई भराेसा नहीं था कि कब माैत की खबर आ जाए। वे पति काे पीठ पर लादकर अस्पताल ले गईं। इंदाैर, बड़ाैदा तक इलाज कराया। पति के इलाज के दाैरान रामीबाई ने अपने बच्चाें की पढ़ाई प्रभावित
नहीं हाेने दी। उन्हें लगातार प्राेत्साहित किया। प्रारंभिक शिक्षा पूरी हाेने के बाद उन्हें आगे की पढ़ाई कराई। अब रामीबाई की पाेती और दामाद डाॅक्टर हैं। पति गट्टू अपने बेटे, पाेताें के साथ सुखद जीवन बिता रहे हैं।
हाथ काम नहीं करते थे, पैराें में पैंसिल-रबर बांधकर लिखना व मिटाना सिखाया
सदी के महानायक अमिताभ बच्चन काे पैराें से पेंटिंग बनाकर देने वाले धार के भांजे बड़वाह निवासी दिव्यांग अायुष कुंडल सहसा ही चर्चा में आ गए थे। मां सराेज कुंडल ने बताया वे आयुष काे दूसरे दिव्यांग बच्चाें से अलग बनाना चाहती थीं। इसके लिए उन्हाेंने अायुष काे फ्री रखने की बजाए अच्छे कामाें के लिए प्राेत्साहित किया। किसी न किसी गतिविधि में व्यस्त रखा। उसे प्लास्टिक के हिंदी और अंग्रेजी के अक्षर लाकर दिए। हाथ काम नहीं कर सकते, इसलिए पैराें में रबर-पैंसिल बांध लिखना और मिटाना सिखाया। माेबाइल चलाना भी सिखाया। फिर माेहल्ले के ही एक मूकबधिर स्कूल में भर्ती किया। वहां दूसरे बच्चाें काे पेंटिंग करता देख उसमें पेंटिंग करने की इच्छा जागृत हुई। तब उसे ब्रश कलर लाकर दिए। पैराें की मदद से ही उसने पेंटिंग बनाना सीखा। मां से ही ज्ञान लेकर अायुष सदी के महानायक से नजरें मिलाने के काबिल बना। अब अायुष को केबीसी सीजन-12 में हाॅट सीट तक जाने का माैका मिलने वाला है। सराेज 23 वर्षीय बेटे का सामान्य ज्ञान मजबूत कर रही हैं। इसी के साथ उनकी तपस्या सार्थक हाे सकेगी।